Move to Jagran APP

Ranikhet : बकरी की जान बचाने को गुलदार से भिड़ा चरवाहा, कुत्‍तों ने निभाई वफादारी, ऐसे बचाई जान

Ranikhet News कालीगाढ़ पट्टी के जंगल में डेरा लगाए चरवाहे पर गुलदार ने हमला बोल दिया। गुलदार के जबड़े में कैद बकरी को छुड़ाने के प्रयास में चरवाहा गुलदार से भिढ़ गया। चौकीदारी में मुस्तैद झबरू श्वान (उच्च हिमालय की वफादार श्वान प्रजाति) मौके पर पहुंचे तो जान बची।

By Jagran NewsEdited By: Nirmala BohraUpdated: Sun, 11 Dec 2022 02:31 PM (IST)
Hero Image
Ranikhet News : बकरी की जान बचाने को गुलदार से भिड़ा चरवाहा
टीम जागरण, रानीखेत : Ranikhet News : कालीगाढ़ पट्टी के जंगल में डेरा लगाए चरवाहे पर गुलदार ने हमला बोल दिया।

डेरे के पास श्वानों की निगरानी में रखे गए भेड़ बकरियों को शिकार बनाने के फेर में यहां मानव वन्यजीव टकराव हुआ। इस दौरान गुलदार के जबड़े में कैद बकरी को छुड़ाने के प्रयास में चरवाहा गुलदार से भिढ़ गया।

खतरा बढ़ता देख चरवाहे ने शोर मचाया। चौकीदारी में मुस्तैद झबरू श्वान (उच्च हिमालय की वफादार श्वान प्रजाति) मौके पर पहुंचे तो जैसे तैसे जान बची। चरवाहे को उपचार के लिए नागरिक चिकित्सालय लाया गया है।

गढ़वाल से भेड़ पालकों की टोली बीती अल्‍मोड़ा पहुंची

इन दिनों से उच्च हिमालय क्षेत्रों में सर्दी का प्रकोप बढ़ने व बर्फबारी के आसार को देखते हुए भेड़ व बकरी पालक पलायन कर शिवालिक पहाड़ियों का रुख कर लेते हैं। पलायन का यह सिलसिला शुरू हो भी चुका है। चमोली गढ़वाल से भेड़ पालकों की टोली बीती रात अल्मोड़ा मजखाली हाईवे पर द्वारसौं स्थित अपने पारंपरिक ठिकाने पर ठहर गए।

कालीगाढ़ के जंगल में चरवाहों ने तंबू लगाए और अपने झबरू श्वानों की निगरानी में भेड़ और बकरियों को उजाला कर विश्राम करने छोड़ दिया।

यह भी पढ़ें : अल्मोड़ा के पहाड़ों में दहाड़ से सहमे हैं लोग, क्यों बौखलाया है नर गुलदार जानें इस खबर में?

चरवाहा यशपाल सिंह नेगी, डबल सिंह व दल्ली निवासीगण पडेरगांव चमोली (गढ़वाल) ने मिलकर भोजन बनाया। सोने की तैयारी कर ही रहे थे कि कि देर रात अचानक गुलदार ने बकरियों के झुंड पर हमला कर दिया और एक बकरी को उठा ले गया।

हाथ पर गुलदार ने पांच बार नुकीले दांत गढ़ा दिए

यशपाल बकरी को छुड़ाने दौड़ा तो शिकार छिनता देख गुलदार चरवाहे पर पर झपट गया। यशपाल ने जान बचाने के लिए संघर्ष किया। चरवाहा यशपाल ने बताया कि इस बीच गुलदार ने कई बार उस पर सीधा हमला किया। खुद को बचाने के साथ ही बकरी छुड़ाते वक्त उसके दाए हाथ पर गुलदार ने पांच बार नुकीले दांत गढ़ा दिए।

चरवाहे ने शोर मचाया। मालिक को खतरे में देख झबरू श्वान बचाव को दौड़े चले आए। इससे गुलदार शिकार छोड़ जंगल की ओर भाग गया। सूचना पर द्वारसों चौकी में तैनात वन कर्मी राजेंद्र प्रसाद घटना स्थल पर पहुंचे। निजी वाहन से नागरिक चिकित्सालय में भर्ती कराया। जहां चरवाहे का उपचार किया जा रहा है।

आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।