Uttarakhand Rains: भारी बारिश से बागेश्वर में चार मकान ढहे, सरयू-गोमती हुई विकराल, आज स्कूलों में अवकाश
Uttarakhand Rains कपकोट में अतिवृष्टि का दौर जारी है। बैकोड़ी में मंदिर क्षतिग्रस्त हो गया है। चार मकान भूस्खलन की भेंट चढ़ गए हैं। एक गाय तथा बछड़ा मलबे में दब गए हैं। बागेश्वर में शुक्रवार रात से अनवरत वर्षा हो रही है। सरयू गोमती का जलस्तर बढ़ गया है। हिमालयी गांवों में भूस्खलन का खतरा बढ़ गया है। जिले में स्कूल बंद हैं। शिक्षक स्कूल जा रहे हैं।
जागरण संवाददाता, बागेश्वर। Uttarakhand Rains: कपकोट में अतिवृष्टि का दौर जारी है। बैकोड़ी में मंदिर क्षतिग्रस्त हो गया है। चार मकान भूस्खलन की भेंट चढ़ गए हैं। एक गाय तथा बछड़ा मलबे में दब गए हैं।
एक राज्यमार्ग समेत 16 ग्रामीण मार्ग आवागमन के लिए बंद हो गए हैं। जिससे लगभग 50 हजार जनसंख्या प्रभावित हो गई है। वर्षा से बिजली, पानी, संचार सेवाएं भी पटरी से उतरी गईं हैं। जिला प्रशासन की टीमें खोजबचाव में जुटी हैं। बंद सड़कों को खोलने का कार्य चल रहा है।
सरयू, गोमती का जलस्तर बढ़ा
बागेश्वर में शुक्रवार रात से अनवरत वर्षा हो रही है। सरयू, गोमती का जलस्तर बढ़ गया है। बिजली, पानी का संकट बना हुआ है। हिमालयी गांवों में भूस्खलन का खतरा बढ़ गया है। जिले में स्कूल बंद हैं। शिक्षक स्कूल जा रहे हैं। मंडलसेरा में रास्ते पानी से भर गए हैं। लोगों को आवागमन में परेशानी हो रही है। बाजार तथा कस्बाई क्षेत्र में सन्नटा पसरा हुआ है।शुक्रवार को सुबह तक झमाझम वर्षा हुई। कपकोट तहसील के बड़ी पन्याली में भूस्खलन हुआ। जिससे उमेद सिंह पुत्र केदार सिंह का कमरों का मकान ध्वस्त हो गया है। जिसमें दो मकान पूर्ण तथा दो निर्माणाधीन भी शामिल हैं। गोशाला में बंधी गाय तथा बछड़ा मलबे में दबकर मर गए हैं। राजस्व, पुलिस, एसडीआरएफ की टीमें बचाव में जुटीं हैं। बैकोड़ी गांव में अतिवृष्टि ने तबाही मचा दी है।
गांव में स्थित नरसिंह देवता का मंदिर क्षतिग्रस्त हो गया है। पेयजल लाइन बह गई है। कृषि भूमि दब गई है। गरुड़ तहसील के दुदिला गांव निवासी रमुली देवी पत्नी हरीश राम का दो मंजिला मकान ध्वस्त हो गया है। तहसीलदार गरुड़ ने मौका मुआयना कर लिया है। प्रभावित परिवार को अहैतुक राशि प्रदान की जा रही है।
जिला मुख्यालय भी वर्षा से तरबतर हो गया है। सरयू का जलस्तर खतरे के निशान तक पहुंच गया है। मंडलसेरा में जलभराव की स्थिति पैदा हो गई है। स्थानीय निवासी किशन विश्वकर्मा ने बताया कि लोगों के घर तथा दुकानों में पानी घुस गया है। लोगों का पैदल चल पाना मुश्किल है। स्कूली बच्चे भी परेशान हैं।
ठाकुरद्धारा स्थित राम मंदिर के गोदाम की छत में पीपल का पेड़ गिर गया है। जिससे गोदाम को भारी नुकसान हुआ है। स्थानीय निवासी रमेश कृषक ने बताया कि पटवारी तथा तहसीलदार को सूचना दी गई है। लेकिन अब तक किसी प्रकार के बचाव की कार्रवाई नहीं हो सकी है।
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बड़ी पन्याली उमेद सिंह पुत्र केदार सिंह, पार्वती देवी पत्नी रतन सिंह, शेर सिंह पुत्र भीम सिंह, खलझूनी निवासी पनी राम पुत्र वण राम, अनर्सा निवासी लक्षमी देवी पत्नी गोपाल सिंह का मकान ध्वस्त हो गया है। प्रभावितों ने घर छोड़ दिए हैं।अतिवृष्टि से सबकुछ खोया
बड़ी पन्याली में हुई अतिवृष्टि में उमेद सिंह ने सब कुछ खो दिया है। उनकी जिंदगी भर की कमाई मलबे में तब्दील हो गई है। सूत्रों के अनुसार एसडीआरएफ ने मलबे से नथ, गलोबंद, झुमके, अंगूठी के अलावा 21500 रुपये बरामद किए हैं। जबकि पीड़ित के कपड़े, बिस्तर, बर्तन, चारपाई, बक्सा, टीवी, मशीन आदि मलबे में दबे हुए हैं।बिजली आपूर्ति छह घंटे ठप
कठायतबाड़ा, सूरजकुंड क्षेत्र में सुबह चार बजे बिजली आपूर्ति ठप हो गई। जिससे लोगों के जरूरी काम प्रभावित हो गए। छह घंटे बाद आपूर्ति बहाल हो सकी। इधर, बनखोला में नगर पालिका की स्ट्रीट लाइट का तार टूटकर रास्ते में गिर गया। जिससे करंट फैलने लगा। एसडीओ आनंद खोलिया ने बताया कि तार टूटने और वर्षा के कारण करंट फैलने पर लाइन ब्रेक की गई।वर्षा से भूस्खलन बंद सड़कें
देवलधार-माईथान-लेटी, बालीघाट-पंद्रहपाली, चचई, पोथिंग-भगवती मंदिर, बालीघाट-दोफाड़-कोटमन्या, दुणी-सुकुंडा, ढालन-खुनौली-मजवे, ढप्टी-झांकरा, लीती बाजार से लीती गांव, बालीघाट-दोफाड़-चौंरा भैरू, रावतसेरा-मानाकभाटा, बांसपठान-रावतसेरा, बागेश्वर-दफौट-हरुमंदिर, बदियाकोट-बोरबलड़ा, काफलीकमेड़ा, सूपी-हरकोट, खाती, कपकोट-कर्मी, रिखड़ी-वाछम, सीरी, मुनार-गासी समेत एक राज्य मार्ग तथा 21 ग्रामीण मार्ग वर्षा की भेंट चढ़ गए हैं। जिससे 50 हजार जनसंख्या प्रभावित हो गई है। इधर, राजस्व निरीक्षक जगदीश परिहार ने बताया कि धरमघर-रीमा मोटर मार्ग छातीखेत के पास बाधित हो गया है। जिसे खोलने के लिए लोडर मशीनें लगाई गई हैं।राजस्व विभाग की टीम नुकसान का आकलन कर रही है। आपदा प्रभावितों को हरसंभव मदद की जा रही है। बंद सड़कों को खोला जा रहा है। पानी, बिजली आदि सेवाएं भी सुचारू करने के निर्देश जिलाधिकारी ने विभागों को दिए हैं।
-शिखा सुयाल, आपदा अधिकारी