Joshimath Sinking: आपदा राहत कार्यों में मौसम की चुनौती, विभाग ने जारी किया बारिश और बर्फबारी का अलर्ट
Joshimath Sinking सीमांत चमोली जिले के आपदाग्रस्त जोशीमठ शहर में सरकार ने राहत कार्यों में पूरी ताकत झोंकी हुई है। खतरनाक हो चुके भवन चिहि्नत किए जा रहे हैं। वहीं आपदाग्रस्त जोशीमठ में राहत कार्यों में भी मौसम की चुनौती ने चिंता बढ़ा दी है।
By Jagran NewsEdited By: Nirmala BohraUpdated: Fri, 13 Jan 2023 09:10 AM (IST)
राज्य ब्यूरो, देहरादून: Joshimath Sinking: एक तो आपदा का दंश और उस पर मौसम की बदलती करवट। माथों पर चिंता की लकीरें उभरना स्वाभाविक है।
आपदाग्रस्त जोशीमठ में राहत कार्यों में भी मौसम की चुनौती ने चिंता बढ़ा दी है। वहां शुक्रवार को हल्की से मध्यम वर्षा की संभावना मौसम विभाग ने जताई है। ऐसे में राहत कार्य में मौसम बाधक न बने, इसके लिए शासन ने प्रभावी कार्ययोजना तैयार की है। इसी कड़ी में पीपलकोटी के साथ ही जोशीमठ के सुरक्षित क्षेत्रों में होटल, गेस्ट हाउस समेत अन्य भवन चिह्नित किए गए हैं।
चिहि्नत किए जा रहे खतरनाक हो चुके भवन
सीमांत चमोली जिले के आपदाग्रस्त जोशीमठ शहर में सरकार ने राहत कार्यों में पूरी ताकत झोंकी हुई है। खतरनाक हो चुके भवन चिहि्नत किए जा रहे हैं। प्रभावितों को अस्थायी रूप से राहत शिविरों में विस्थापित किया जा रहा है।यह भी पढ़ें: जोशीमठ में क्यों हो रहा भूधंसाव? 1976 से आई हर रिपोर्ट में जताई खतरे की आशंका, लेकिन नहीं हुआ अमल
असुरक्षित क्षेत्र के भवनों को तोड़ने की कसरत शुरू की गई है। साथ ही तमाम केंद्रीय विज्ञानिक संस्थानों की टीमें घटना के कारणों की तह तक जाने के लिए जांच में जुटी हैं। इस परिदृश्य के बीच मौसम की चुनौती की आशंका के बादल भी मंडराने लगे हैं। चिंता ये साल रही कि मौसम के करवट बदलने पर बारिश होने से राहत कार्यों पर असर पड़ सकता है।
साथ ही प्रभावितों को दिक्कतें झेलनी पड़ सकती हैं। साथ ही भवनों और विभिन्न स्थानों पर पड़ी दरारों में बारिश का पानी भरने का अंदेशा है। इस सबको देखते हुए मशीनरी अब मौसम की चुनौती से निबटने पर भी ध्यान केंद्रित कर रही है, ताकि राहत कार्यों के साथ ही जांच एजेंसियों को किसी प्रकार की कठिनाई का सामना न करना पड़े।
यह भी पढ़ें: Joshimath Sinking: दरकते शहर के हर चेहरे पर चिंता की लकीरें... दरक रहीं उम्मीदें... टूट रहे सपने'मौसम की चुनौती से निबटने के लिए पीपलकोटी के अलावा जोशीमठ के सुरक्षित क्षेत्र में होटल समेत अन्य भवनों को चिह्नित किया गया है। जरूरत पड़ने पर वाटरप्रूफ टेंट समेत अन्य व्यवस्था करने के निर्देश भी जिला प्रशासन को दिए गए हैं।'
-डा रंजीत कुमार सिन्हा, सचिव आपदा प्रबंधन, उत्तराखंड'राज्य के पर्वतीय जिलों विशेषकर उत्तरकाशी, चमोली, पिथौरागढ़ में हल्की वर्षा-बर्फबारी के आसार बन रहे हैं। जोशीमठ में भी इस अवधि में मौसम ऐसा ही बना रह सकता है।' -विक्रम सिंह, निदेशक राज्य मौसम केंद्र, देहरादून
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