Uttarakhand Budget: धामी सरकार के बजट में झलकी जन स्वास्थ्य की चिंता, अटल आयुष्मान उत्तराखंड योजना में 25 प्रतिशत की बढ़त
Uttarakhand Budget Session आज उत्तराखंड के पांच दिवसीए बजट सत्र का दूसरा दिन है। कल राज्यपाल लेफ्टिनेंट जनरल गुरमीत सिंह के अभिभाषण के बाद सत्र की कार्यवाही को तीन बजे चालू करने की जानकारी सामने आई थी। तीन बजे भी कार्यवाही शुरू नहीं हुई और कार्यवाही को आज यानी मंगलवार सुबह 11 बजे तक के लिए स्थगित कर दिया गया था।
जागरण संवाददाता, देहरादून। Uttarakhand Budget Session: जन स्वास्थ्य के मोर्चे पर राज्य सरकार की नेक नियति बजट में साफ झलकी है। राज्य सरकार ने अटल आयुष्मान उत्तराखंड योजना के बजट में इस साल 25 प्रतिशत की बढ़ोतरी की है। गत वर्ष इस योजना के लिए तहत 400 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया था, जिसे बढ़ाकर अब 500 करोड़ रुपये कर दिया गया है।
उत्तराखंड के समस्त परिवारों को निश्शुल्क एवं कैशलेस उपचार की सुविधा देने के लिए सरकार ने आयुष्मान भारत की तर्ज पर अटल आयुष्मान उत्तराखंड योजना की शुरुआत की है। जिसके तहत पांच लाख तक का निश्शुल्क उपचार मरीजों को मिलता है।
पोर्टेबिलिटी की भी दी जाएगी सुविधा
योजना के तहत राज्य में 102 राजकीय व 152 निजी चिकित्सालय सूचीबद्ध हैं। यही नहीं योजना के तहत नेशनल पोर्टेबिलिटी की भी सुविधा दी जा रही है। यानी मरीज राज्य से बाहर भी अपना उपचार करा सकता है।निम्न व निम्न मध्यम वर्गीय परिवारों के लिए यह योजना किसी वरदान से कम नहीं है। यह उन्हें बुरे दौर में संबल प्रदान कर रही है। सरकार भी इसका महत्व समझती है।
'गरीब व्यक्ति का पैसों के अभाव में न रुके इलाज'
बजट में वित्त मंत्री ने इस बात का उल्लेख भी किया कि राज्य सरकार यह सुनिश्चित किया है कि किसी भी गरीब व्यक्ति को पैसे के अभाव में अपना इलाज न टालना पड़े। गरीब परिवारों के उनके घर के पास ही बेहतर इलाज मिले। गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सुविधाएं अंतिम छोर तक पहुंचें इसके लिए अटल आयुष्मान उत्तराखंड योजना के लिए वित्तीय वर्ष 2024-25 में 500 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है।अटल आयुष्मान योजना की शुरुआत से अब तक की स्थिति
- अभी तक बने 55 लाख आयुष्मान कार्ड।
- 51 प्रतिशत महिला व 49 प्रतिशत पुरुषों के बने कार्ड।
- 10.30 लाख लाभार्थी हुए योजना से लाभान्वित।
- 46 प्रतिशत महिलाएं, 54 प्रतिशत पुरुष हुए भर्ती।
- कैशलेस उपचार में सरकार ने व्यय की 2030 करोड़ की राशि।
- नेशनल पोर्टेबिलिटी के तहत राज्य से बाहर के चिकित्सालयों में 44658 मरीज हुए भर्ती।
गंभीर बीमारियों का उपचार
बीमारी - भर्ती मरीज
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