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घटिया सामान बेचना पड़ा महंगा, कीमत लौटाने के आदेश; जानिए पूरा मामला

घटिया सामान बेचना कंपनी को महंगा पड़ा। उपभोक्ता फोरम ने कंपनी से खरीदे गए एसीसी ब्लॉक्स में दरारें आने पर कंपनी को रकम लौटाने के निर्देश दिए।

By Raksha PanthariEdited By: Updated: Sat, 08 Jun 2019 05:57 PM (IST)
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घटिया सामान बेचना पड़ा महंगा, कीमत लौटाने के आदेश; जानिए पूरा मामला
देहरादून, जेएनएन। घटिया सामान बेचना एक निर्माण सामाग्री कंपनी को भारी पड़ गया। उपभोक्ता फोरम ने कंपनी से खरीदे गए एसीसी ब्लॉक्स में दरारें आने पर कंपनी को क्लेम के रूप में एक लाख रुपये, मानसिक क्षति के रूप में 25 हजार और वाद व्यय के रूप में पांच हजार रुपये लौटाने के निर्देश दिए हैं। 

बद्रीपुर जोगीवाला निवासी डॉ. पृथ्वीपाल सिंह रावत की ओर से आरडी ग्रुप के राजीव धर के खिलाफ उपभोक्ता फोरम में वाद दाखिल किया था। वाद के मुताबिक वादी को अपने भवन के प्रथम तल का निर्माण शुरू करना था। जिसके लिए वादी ने निर्माण सामाग्री के लिए आरडी ग्रुप के राजीव धर से संपर्क किया और इसके बाद वहां से दो लाख रुपये के एसीसी ब्लॉक्स, उसको लगाने के लिए 30 बैग बांड लगभग 35 हजार रुपये, आलमारी, दरवाजे आदि के लिए लकड़ी खरीदी। लेकिन लगाने के कुछ ही महीने बाद ब्लॉक्स में दरारें आ गई और आलमारी और दरवाजों में लगी सनमाइका कई जगह फू ल गई। जिसके बाद वादी ने विपक्षी से संपर्क किया। इसके बाद विपक्षी ने इंजीनियर भेजकर दरारों को भर दिया। जिसका खर्चा वादी को ही उठाना पड़ा। लेकिन कुछ दिन बाद ही ब्लॉक्स में फिर से दरारें आनी शुरू हो गई।

जिसके बाद वादी ने दोबारा निर्माण में खर्च हुए रुपये वापस करने के निर्देश दिए, लेकिन, विपक्षी ने मना कर दिया। शुक्रवार को दोनों पक्षों को सुनने के बाद फोरम के अध्यक्ष भूपेंद्र सिंह दुग्ताल ने सदस्य विमल प्रकाश नैथानी की मौजूदगी में सुनवाई करते हुए निर्माण सामाग्री कंपनी को वादी को क्लेम के रूप में अंकित एक लाख रुपये के साथ ही मानसिक क्षति के रूप में 25 हजार रुपये और वाद व्यय के रूप में पांच हजार रुपये तीस दिन के भीतर लौटाने के निर्देश दिए हैं। 

मोबाइल की कीमत या नया मोबाइल देने के निर्देश 

उपभोक्ता फोरम ने एक अन्य वाद में गैलोर्ड इंपोरियम क्लॉक टॉवर और यूनिवर्सल टैक्नीकल सोल्यूसन को संयुक्त या पृथक वादी को या तो नया मोबाइल देने या मोबाइल की कीमत वापस करने के निर्देश दिए हैं। साथ ही मानसिक क्षति के रूप में वादी को दस हजार रुपये व वाद व्यय के रूप में तीन हजार रुपये तीस दिन के अंदर देने के निर्देश दिए हैं। 

वाद के मुताबिक मोहम्मद जाहिद पुत्र अब्दुल मजीद निवासी चूना भट्टा ने गैलोर्ड इंपोरियम से 20 हजार 500 रुपये का सैमसंग का एक मोबाइल खरीदा। जिसे उसने वासिम खान पुत्र हनिफ खान निवासी सुभाष रोड को गिफ्ट दे दिया। 

एक हफ्ते बाद ही मोबाइल में खराबी आ गई। जिसके बाद वादी ने मोबाइल को गैलोर्ड इंपोरियम को दिखाया तो उसने वादी को यूनिवर्सल टैक्नीकल सोल्यूसन क्रास रोड के पास भेज दिया। लेकिन इसके बाद भी मोबाइल ठीक नहीं हुआ। इसके बाद सर्विस सेंटर में मोबाइल का मदरबोर्ड चेंज किया गया, लेकिन दोबारा वह खराब हो गया। मामले में दोनों पक्षों को सुनने के बाद फोरम में विपक्षियों को संयुक्त या पृथक या तो मोबाइल की कीमत वापस करने या नया मोबाइल देने के निर्देश दिए हैं। साथ ही मानसिक क्षति के रूप में दस हजार व वाद व्यय के रूप में तीन हजार रुपये एक माह के अंदर अदा करने के निर्देश दिए हैं। तय समय में धनराशि वापस न करने पर वादी नौ प्रतिशत वार्षिक दर से ब्याज पाने का हकदार होगा।      

इंस्टीट्यूट को लौटानी होगी कोर्स की फीस 

जिला उपभोक्ता फोरम ने एक वाद में तुला इंस्टीट्यूट को वादी के कोर्स की फीस वापस करने के निर्देश दिए हैं। साथ ही दस हजार रुपये मानसिक क्षति के रूप में और पांच हजार वाद व्यय के रूप में तीस दिन के अंदर भुगतान करने के निर्देश दिए हैं। 

वाद के मुताबिक राजेंद्र सिंह निवासी दिल्ली ने अपने बेटा का दाखिला तुला इंस्टीट्यूट में कंप्यूटर सांइस कोर्स में कराया। जिसके लिए संस्थान में 45 हजार रुपये जमा कराए। लेकिन इसके बाद वादी का पुत्र बीमार हो गया। जिसके कारण वह कोर्स ज्वाइन नहीं कर पाया। संस्थान ने दाखिला लेते समय कहा था कि यदि कोर्स ज्वाइन नहीं किया जाता तो फीस में से एक हजार रुपये काट कर वापस किए जाएंगे। 

इसलिए वादी ने संस्थान से जमा की गई फीस वापस करने की मांग की। लेकिन संस्थान ने फीस वापस नहीं की। दोनों पक्षों के सूबूतों और तर्कों को सुनने के बाद फोरम ने माना माना कि विपक्षी की ओर से सेवा में कमी की गई है। इसलिए फोरम ने संस्थान को वादी के फीस में से एक हजार रुपये काटकर 44 हजार रुपये, मानसिक क्षति के रूप में दस हजार और वाद व्यय के रूप में पांच हजार रुपये लौटाने के निर्देश दिए हैं। यह राशि फोरम ने तीस दिन के अंदर वापस लौटाने के निर्देश दिए हैं। 

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