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Coronavirus: सिस्टम की तैयारियों पर जमातियों ने एक झटके में लगा दिया पलीता

दिल्ली के निजामुद्दीन स्थित मरकज व अन्य तब्लीगी जमातों से लौटे लोगों (जमातियों) ने प्रदेश में मुसीबतों का पहाड़ खड़ा कर दिया है।

By Sunil NegiEdited By: Updated: Mon, 06 Apr 2020 08:59 AM (IST)
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Coronavirus: सिस्टम की तैयारियों पर जमातियों ने एक झटके में लगा दिया पलीता
देहरादून, जेएनएन। दिल्ली के निजामुद्दीन स्थित मरकज व अन्य तब्लीगी जमातों से लौटे लोगों (जमातियों) ने प्रदेश में मुसीबतों का पहाड़ खड़ा कर दिया है। कोरोना वायरस के संक्रमण की रोकथाम और बचाव के लिए सिस्टम ने पिछले एक माह में जो तैयारियां की थीं, जमातियों ने एक झटके में उनको पलीता लगा दिया। इस बात की तस्दीक ऐसे की जा सकती है कि 15 मार्च से एक अप्रैल के बीच यानी 18 दिन में जहां कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या सात थी। वहीं चार दिन में मरीजों की संख्या में एकाएक 70 फीसद से ज्यादा वृद्धि हो गई है। दो से पांच अप्रैल के बीच प्रदेश में कोरोना के 20 नए मामले सामने आए हैं और ये सभी जमाती हैं।

व्यवहार से मेडिकल स्टाफ आजिज

उत्तराखंड के लिए बड़ा खतरा बन चुके जमाती अस्पताल में भर्ती होने के बाद भी वही रवैया अख्तियार किए हुए हैं। प्रदेश में अलग-अलग जगह से मेडिकल स्टाफ के साथ र्दुव्‍यवहार के मामले सामने आ रहे हैं। दून अस्पताल का ही उदाहरण लीजिए। कोई वार्ड में जगह-जगह थूक रहा है तो कोई खाने में नुक्स निकाल रहा है। स्टाफ के कुछ कहने पर जमाती उनसे उलझ जा रहे हैं। क्वारंटाइन सेंटर में भी कमोबेश कुछ इसी तरह की स्थिति है। देहरादून के सुद्धोवाला स्थित क्वारंटाइन सेंटर में ड्यूटी कर रहा स्टाफ शिकायत कर रहा है कि वहां भी ये लोग जगह-जगह थूक रहे हैं।

आम लोगों के लिए बढ़ा जान का जोखिम

जमातियों के गैर जिम्मेदाराना रवैये के कारण सैकड़ों लोगों की जान पर खतरा मंडरा रहा है। देहरादून में भगत सिंह कॉलोनी व कारगी ग्रांट का कुछ क्षेत्र इस कारण लॉकडाउन में है। वहीं, रुड़की के पनियाला गांव में जमात से लौटे युवक के संक्रमित होने के बाद पूरे गांव को क्वारंटाइन कर दिया गया है। रुद्रपुर के जयनगर गुजर खत्ता में छह जमातियों के पकड़े जाने के बाद गांव को सील कर दिया गया है। जमातियों के कोरोना संक्रमित पाए जाने के बाद देहरादून के लक्खीबाग व डोईवाला क्षेत्र में भी यही स्थिति बन गई है।

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खुद नहीं आ रहे सामने

जमातियों ने हर जिले में पुलिस-प्रशासन की नींद उड़ाई हुई है। आलम यह कि सिस्टम की पूरी एनर्जी अब जमातियों को तलाशने में ही जाया हो रही है। क्योंकि वह खुद सामने आने से बच रहे हैं। स्वास्थ्य विभाग की टीमें ब्लॉकवार इसी काम में लगी हैं। मुसीबत यहीं खत्म नहीं होती। यह असहयोग की भावना नहीं तो क्या है कि कई जमाती चोरी-छिपे उत्तराखंड की सीमा में दाखिल होने की कोशिश करते पकड़े गए। कुछ दिन पहले रुद्रपुर में 13 जमाती रेलवे ट्रैक पकड़कर प्रदेश की सीमा में दाखिल हो रहे थे। जिन्हें पुलिस ने पकड़कर क्वारंटाइन सेंटर भेजा। बाद में इनमें तीन जमाती कोरोना संक्रमित पाए गए। शनिवार को सात जमाती चोरी-छिपे दून में दाखिल होते पकड़े गए। ऐसी घटनाएं लगातार सामने आ रही हैं, जिससे खतरा बढ़ने की आशंका है।

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