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Dehradun News: पर्यटकों को खूब भा रहे होम स्टे व रिसार्ट में लोकल व्यंजन, डिमांड पर मिल रहा पसंदीदा भोजन

यदि आप पर्यटन स्थल चकराता क्षेत्र में घूमने आ रहे हैं और होटल में कमरा न मिल रहा हो तो निराश न हों चकराता क्षेत्र में पर्यटकों के लिए अब रिसार्ट व होम स्टे की सुविधा भी है। जहां पर स्थानीय खाने का आनंद भी लिया जा सकता है।

By rajesh panwarEdited By: Abhishek PandeyUpdated: Thu, 04 May 2023 07:47 AM (IST)
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पर्यटकों को खूब भा रहे होम स्टे व रिसार्ट में लोकल व्यंजन

राहुल चौहान, चकराता:  यदि आप पर्यटन स्थल चकराता क्षेत्र में घूमने आ रहे हैं और होटल में कमरा न मिल रहा हो तो निराश न हों, चकराता क्षेत्र में पर्यटकों के लिए अब रिसार्ट व होम स्टे की सुविधा भी है। जहां पर स्थानीय खाने का आनंद भी लिया जा सकता है। चकराता क्षेत्र में सीमित होटल के चलते धीरे धीरे विकसित हो रहे रिसार्ट व होम स्टे में रहना पर्यटकों को पंसद आने लगा है।

पर्यटकों को मिल रहा लजीज भोजन

सबसे ज्यादा पर्यटक इस बात को लेकर खुश होकर जाते हैं कि उन्हें जौनसार बावर की स्थानीय उपज से बना शुद्ध व लजीज भोजन भी मिल रहा है। जो बाहरी राज्यों से आने वाले पर्यटकों के लिए अलग ही अनुभव देता है। होम स्टे से पर्यटक घर जैसा अहसास भी कर रहे हैं। चकराता छावनी क्षेत्र होने के कारण पर्यटकों के ठहरने के लिए सीमित संख्या में होटल हैं। पहले पर्यटक यहां पर आते थे, लेकिन ठहरने के लिए होटल न मिलने पर उन्हें मसूरी जाना पड़ता था।

पर्यटकों की इस समस्या को देखते हुए धीरे धीरे होम स्टे व रिसार्ट संस्कृति विकसित हुई। स्थानीय व्यक्तियों ने कोरुवा व चकराता क्षेत्र में रिसार्ट बना दिए हैं। स्थानीय व्यक्तियों को होम स्टे से भी आर्थिकी मजबूत हो रही है। कोटी कनसर में होमस्टे संचालक इंदर राणा बताते हैं कि हमारे यहां आने वाले मेहमानों व पर्यटक को जौनसार बावर की संस्कृति, खानपान व रीति रिवाज से रूबरू कराया जा रहा है।

पर्यटकों की डिमांड पर मिल रहा भोजन

उन्हें जनजातीय क्षेत्र जौनसार बावर की ग्रामीण जीवन शैली महसूस कराने का प्रयास भी किया जाता है। होमस्टे में जौनसार बावर के पारंपरिक व्यंजन पर्यटक को परोसे जा रहे हैं। जिसमें मंडुवे की रोटी, लाल चावल, असके, शुद्ध चौलाई, दही, दूध, सत्तू, सीजन वाली सब्जियां लेगड़ा, अरवी, पतोड़, राजमा, उड़द दाल, खिचड़ी सीड़े आदि व्यंजन परोसे जाते है, जो पर्यटकों को काफी पसंद आते हैं। पर्यटकों की डिमांड पर उनके पसंद का भोजन भी परोसा जाता है।

रिसोर्ट संचालक दिनेश चौहान, जयवीर चौहान, अनुपम तोमर, राजेंद्र चौहान, दिनेश चौहान, दिनेश भट्ट, अरविंद जोशी, रघुवीर चौहान आदि बताते हैं कि पर्यटक आजकल कंक्रीट से बने लग्जरी भवनों को छोड़ रिसार्ट व होमस्टे को ज्यादा पसंद कर रहे हैं। यहां की शांति व अपना अलग काटेज एकांत का अहसास कराता है और इसमें रहना अपना अलग ही अनुभव देता है।

1 से 5 हजार की बुकिंग

यहां पारंपरिक व्यंजन मीठी रोटी, जौ की रोटी, सीजनेबल सब्जिया, लाल चावल, लोकल राजमा, उड़द, कुलत, तौर की दाल, कफरोड़ी आदि परोसे जाते हैं, जो पर्यटक काफी पसंद कर रहे हैं। रिसार्ट में हजार रुपये से लेकर पांच हजार तक पर हेड बुक किए जाते हैं, जिसमें रात्रि का खाना सुबह का नाश्ता भी रहता है।