Move to Jagran APP

देश में हर रोज आते हैं 55 भूकंप, दिल्ली में सात माह में 39 बार; जानें- किस महीने सबसे अधिक रहा आंकड़ा

Earthquake In India यह पहली दफा है कि दिल्ली क्षेत्र में सामान्य से अधिक संख्या में भूकंप के झटके महसूस किए गए। महज सात माह में 39 बार भूकंप आया।

By Raksha PanthariEdited By: Updated: Sat, 19 Sep 2020 11:21 PM (IST)
देश में हर रोज आते हैं 55 भूकंप, दिल्ली में सात माह में 39 बार; जानें- किस महीने सबसे अधिक रहा आंकड़ा
देहरादून, सुमन सेमवाल। Earthquake In India दिल्ली-एनसीआर में कभी बड़े भूकंप का इतिहास नहीं रहा है और छोटे स्तर के भूकंप ही यहां महसूस किए जाते हैं। यह पहली दफा है कि दिल्ली क्षेत्र में सामान्य से अधिक संख्या में भूकंप के झटके महसूस किए गए। इसके आंकड़े जारी करते हुए वाडिया हिमालय भूविज्ञान संस्थान ने बताया है कि महज सात माह (जनवरी से लेकर जुलाई) में दिल्ली में 39 बार भूकंप के झटके आए। कम अंतराल में भूकंप की पुनरावृत्ति होते रहने को विज्ञानी भी सामान्य नहीं मान रहे। वहीं, पूरे देश की बात की जाए तो यहां हर साल 20 हजार भूकंप के झटके महसूस होते है। हर दिन ये 55 झटकों के करीब रिकॉर्ड किए जा रहा है।

वाडिया हिमालय भूविज्ञान संस्थान के वरिष्ठ विज्ञानी डॉ. सुशील रोहेला ने बताया कि जनवरी से मार्च तक के तीन माह में महज छह भूकंप आए। वहीं, अप्रैल से जून के बीच यह संख्या 31 पहुंच गई। 12 और 13 अप्रैल को लगातार दो दिन भूकंप के झटके महसूस किए गए और सर्वाधिक तीव्रता का भूकंप 29 मई को 4.2 मैग्नीट्यूट का रहा। कम अंतराल में अधिक भूकंप आने पर वाडिया संस्थान के निदेशक डॉ. कालाचांद साई ने दिल्ली में अध्ययन करने के निर्देश भी दिए थे, लेकिन कोरोना वायरस के संक्रमण के चलते टीम रवाना नहीं की जा सकी। अब टीम कब रवाना की जाएगी, इसपर बाद में निर्णय लिया जाएगा। इतना जरूर है कि छोटे भूकंप से भूगर्भ में जमा ऊर्जा बाहर भी निकल सकती है और यह इस बात का भी संकेत हो सकता है कि भूगर्भ में लगातार तनाव की स्थिति बन रही है।

दिल्ली में आए भूकंप

माह, संख्या

जनवरी, 01

फरवरी, 03

मार्च, 02

अप्रैल 09

मई, 08

जून, 14

जुलाई, 02

(देश में आ रहे भूकंप की स्थिति बताने के लिए तैयार किया गया ग्राफिक्स)

ऐतिहासिक फॉल्ट लाइन जैसा खतरा नहीं

वाडिया संस्थान के वरिष्ठ विज्ञानी डॉ. रोहेला का कहना है कि दिल्ली क्षेत्र के भूकंप का ऐतिहासिक फॉल्ट लाइन हिमालय फ्रंटल थ्रस्ट, मेन बाउंड्री थ्रस्ट, मेन सेंट्रल थ्रस्ट जैसा खतरा नहीं है। क्योंकि इन पर बेहद शक्तिशाली भूकंप भी आते हैं। दिल्ली के भूकंपों का संबंध ग्रेट बाउंड्री फॉल्ट, दिल्ली-हरिद्वार फॉल्ट, सोहना फॉल्ट व महेंद्रगढ़-देहरादून जैसे स्थानीय फॉल्ट से है। वैसे भी दिल्ली में बड़े भूकंप का इतिहास नहीं रहा। दिल्ली क्षेत्र में अब तक सर्वाधिक तीव्रता का भूकंप वर्ष 1956 में 6.7 मैग्नीट्यूट का आया था। हालांकि, आज की बसावट और निर्माण के अनुरूप इतनी क्षमता का भूकंप भी खतरा बन सकता है।

यह भी पढ़ें: Earthquake: उत्तराखंड के उत्तरकाशी में भूकंप के झटके, घरों से बाहर निकल आए लोग; टिहरी जिले में था केंद्र

देश में हर साल 20 हजार भूकंप के झटके

वाडिया संस्थान के वरिष्ठ विज्ञानी डॉ. सुशील रोहेला ने बताया कि देश में हर साल करीब 20 हजार भूकंप आ रहे हैं। वर्ष 2017 से 2020 सितंबर माह तक के आंकड़ों के अध्ययन में यह बात सामने आई। यानी प्रतिदिन भूकंप के करीब 55 झटके रिकॉर्ड किए जा रहे हैं। भूकंप कब आएंगे और उनकी तीव्रता क्या होगा, इसका पता लगा पाना अभी संभव नहीं है। फिर भी दीर्घकालिक रिकॉर्ड (1900 के बाद से) विश्व में हर साल 16 बड़े भूकंप की आशंका बनी रहती है, जिसमें 15 भूकंप सात मैग्नीट्यूट और एक आठ मैग्नीट्यूट से ऊपर का हो सकता है।

यह भी पढ़ें: Earthquake: उत्तराखंड में भूकंप के झटके, चमोली जिला रहा केंद्र; घरों से बाहर निकल आए लोग

आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।