राज्य कर से गायब फाइल मामले में होगी एफआइआर, जानिए पूरा मामला
राज्य कर विभाग (पहले वाणिज्य कर) की असेसमेंट (मूल्यांकन) संबंधी एक फाइल के गायब होने के मामले में एफआइआर दर्ज कराई जाएगी
By Raksha PanthariEdited By: Updated: Wed, 11 Sep 2019 04:49 PM (IST)
देहरादून, जेएनएन। उत्तर प्रदेश के समय राज्य कर विभाग (पहले वाणिज्य कर) की असेसमेंट (मूल्यांकन) संबंधी एक फाइल के गायब होने के मामले में एफआइआर दर्ज कराई जाएगी। यह आदेश राज्य सूचना आयुक्त जेपी ममगाईं ने राज्य कर के देहरादून सेक्टर-चार की उपायुक्त सुनीता पांडेय को दिए हैं।
अधिवक्ता संजय दत्त शर्मा ने राज्य कर के सेक्टर चार की उपायुक्त (लोक सूचनाधिकारी) से करीब 26 साल पुराने एक मामले में असेसमेंट संबंधी जानकारी मांगी थी। तय समय के भीतर सूचना न मिलने पर अधिवक्ता संजय दत्त शर्मा ने सूचना आयोग में अपील की। प्रकरण की सुनवाई करते हुए राज्य सूचना आयुक्त जेपी ममगाईं ने पाया कि उपायुक्त ने तो इसे थर्ड पार्टी की सूचना बताकर इससे इनकार कर दिया, जबकि थर्ड पार्टी को इस बाबत नोटिस भी नहीं भेजा गया।वहीं, आयोग को यह भी बताया गया कि नियमों के अनुसार इस तरह के दस्तावेज आठ साल की अवधि में नष्ट कर दिए जाते हैं। हालांकि, उपायुक्त संबंधित फाइल को नष्ट किए जाने संबंधी कोई साक्ष्य उपलब्ध नहीं करा पाईं। साथ ही अपने बचाव में तर्क दिया कि नौ नवंबर 2000 को राज्य गठन के बाद उनका कार्यालय तीन-चार बार बदल चुका है।
ऐसे में संबंधित फाइल वर्तमान कार्यालय में नहीं है। सूचना आयुक्त ने पाया कि जब फाइल को नष्ट करने के कोई प्रमाण नहीं है तो संभवत: उसे गायब भी किया जा सकता है। लिहाजा, उन्होंने आदेश दिया कि गुम हो चुकी फाइल की एफआइआर दर्ज कराई जाए। यह भी पढ़ें: ईजी डे स्टोर में हुई चोरी का खुलासा, पूर्व सिक्योरिटी गार्ड गिरफ्तार Dehradun News
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