Move to Jagran APP

आसन बैराज में अब करीब से करें परिंदों का दीदार, पढ़िए पूरी खबर

आसन झील को बर्डिंग डेस्टिनेशन बनाने की योजना के मद्देनजर वहां सिंचाई विभाग की भूमि गढ़वाल मंडल विकास निगम को प्रयोग में लाने की शासन ने अनुमति जारी कर दी है।

By Sunil NegiEdited By: Updated: Sat, 21 Dec 2019 08:48 PM (IST)
Hero Image
आसन बैराज में अब करीब से करें परिंदों का दीदार, पढ़िए पूरी खबर
देहरादून, राज्य ब्यूरो। आसन झील में अब देशी-विदेशी परिंदों का लोग बेहद करीब से दीदार कर सकेंगे। विकासनगर के निकट स्थित आसन झील को बर्डिंग डेस्टिनेशन बनाने की योजना के मद्देनजर वहां सिंचाई विभाग की भूमि गढ़वाल मंडल विकास निगम (जीएमवीएन) को प्रयोग में लाने की शासन ने अनुमति जारी कर दी है। इसके तहत आसन झील में यात्री आवास गृह से लगे पैदल मार्ग को प्रयोग में लाने की मंजूरी दी गई है।

आसन झील पक्षी अवलोकन के बड़े केंद्र के रूप में उभरी है। बड़ी संख्या में पक्षी प्रेमी वहां परिंदों के दीदार को पहुंचते हैं। इसे देखते हुए जीएमवीएन ने ढालीपुर स्थित आसन कंजर्वेशन रिसॉर्ट को बर्डिंग डेस्टिनेशन के रूप में विकसित करने की योजना बनाई है। इस कड़ी में पर्यटक आवास गृह के साथ पैदल चलने के लिए सिंचाई विभाग के गेट को खोलने का निगम ने शासन से आग्रह किया था। अब शासन ने यह अनुमति दे दी है।

सचिव सिंचाई डॉ. भूपिंदर कौर औलख की ओर से इस संबंध में जारी आदेश में कहा गया है कि अग्रिम आदेशों तक इस मार्ग को प्रयोग में लाने की अनुमति दी गई है। आसन बैराज पर सिंचाई विभाग के कैंटीन परिसर को छोड़ते हुए अन्य पैदल मार्ग को बर्ड वाचिंग के उपयोग के लिए दिया गया है।

यह भी पढ़ें: दून के आसन वेटलैंड में जनवरी में हो सकती है मेहमान परिंदों की गणना

आदेश के मुताबिक जीएमवीएन के बोट हाउस व कैंटीन के पास के गेट के ताले खोलने के बाद इसका उपयोग केवल बर्ड वाचिंग के लिए ही किया जाएगा। इसमें कच्चे-पक्के निर्माण के लिए सिंचाई विभाग की अनुमति आवश्यक होगी। सिंचाई विभाग की कैंटीन उसके पास यथावत स्थिति में बनी रहेगी। पैदल मार्ग की साफ-सफाई व रखरखाव का जिम्मा जीएमवीएन का होगा।

यह भी पढ़ें: उत्तराखंड में राष्ट्रीय उद्यानों की सैर महंगी, ड्रोन से फोटोग्राफी पर भी लगेगा शुल्क

आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।