स्वामी चंद्रमोहन पर लगे दुष्कर्म के आरोप, 26 अनुयायियों के बयान दर्ज
स्वामी चंद्रमोहन पर लगे दुष्कर्म के आरोपों की तह तक जाने के लिए राजपुर पुलिस ने रविवार को सेरा गांव स्थित आश्रम से जुड़े दो दर्जन से अधिक अनुयायियों के बयान दर्ज किए।
By Edited By: Updated: Mon, 26 Aug 2019 10:53 AM (IST)
देहरादून, जेएनएन। स्वामी चंद्रमोहन पर लगे दुष्कर्म के आरोपों की तह तक जाने के लिए राजपुर पुलिस ने रविवार को सेरा गांव स्थित आश्रम से जुड़े दो दर्जन से अधिक अनुयायियों के बयान दर्ज किए। तीन महीने पूर्व जिस दिन शिष्या के साथ दुष्कर्म की बात कही जा रही है, यह अनुयायी उस दिन आश्रम में मौजूद थे। वहीं, सेरा गांव आश्रम के अध्यक्ष और दुष्कर्म के आरोपित कुलदीप ने भी पुलिस को कुछ दस्तावेज सौंपते हुए कहा है कि उनके और स्वामी के खिलाफ षडयंत्र रचा जा रहा है। इसके साथ ही पुलिस ने दोनों पीड़िताओं को सोमवार को मजिस्ट्रेटी बयान के लिए देहरादून बुलाया है। मुकदमा दर्ज कराने के बाद दोनों महिलाएं पश्चिमी उत्तर प्रदेश स्थित अपने घरों को लौट गई थीं।
जनेऊ क्रांति अभियान के प्रणेता, परमधाम न्यास दौराला मेरठ के अधिष्ठाता पूर्णगुरु स्वामी चंद्रमोहन पर शुक्रवार को दो महिलाओं ने दुष्कर्म का आरोप लगाते हुए राजपुर थाने में मुकदमा कराया था। यह दोनों उनकी शिष्याएं थीं और सेरा गांव स्थित आश्रम में अक्सर आना-जाना होता रहता था। एक शिष्या का आरोप है कि उसके साथ 22 अगस्त 2018 की रात स्वामी चंद्रमोहन और जनेऊ क्रांति अभियान के जिलाध्यक्ष कुलदीप ने कमरे में बंद कर दुष्कर्म किया था।
कुलदीप की पत्नी सरिता और अलका पत्नी नीरज पर आरोप है कि उन्हीं दोनों ने उसे घटना के दिन रात के बारह बजे नींद से जगा कर स्वामी के कमरे में भेजा था। वहीं, दूसरी शिष्या का आरोप है कि उसके साथ आश्रम में बीते 17 जून 2019 को दुष्कर्म किया गया। दोनों ने पुलिस अफसरों को बताया था वह स्वामी के रसूख से डर कर अब तक चुप थीं। एक वारदात तीन महीने और दूसरी वारदात के करीब एक साल पुरानी होने के कारण पुलिस के लिए हकीकत का पता लगाना नामुमकिन भले न हो, लेकिन कठिन जरूर है।
ऐसे में पुलिस का प्रयास है कि पहले दुष्कर्म पीड़िताओं की ओर से लगाए जा रहे आरोपों की सत्यता का पता लगाते हुए घटना से जुड़े ठोस सबूत जुटा लिए जाएं। इसके लिए राजपुर पुलिस ने रविवार को 22 अगस्त 2018 और बीती 17 जून को आश्रम में मौजूद 26 अनुयायियों को थाने बुलाया और उनके बारी-बारी से बयान कलमबंद किए। वहीं, पुलिस सोमवार को पीड़िताओं का मजिस्ट्रेट के समक्ष बयान दर्ज कराने की कोशिश करेगी।
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बोले एसएसपी
एसएसपी अरुण मोहन जोशी का कहना है कि तीन महीने पूर्व व करीब एक साल पूर्व दुष्कर्म की वारदात के समय आश्रम में जो लोग मौजूद थे, उसमें से कई के बयान लिए गए हैं। इसके साथ ही स्वामी के मोबाइल नंबर की सीडीआर भी मंगाई गई है, ताकि यह पता लग सके कि घटना के दिन वह आश्रम में मौजूद थे या नहीं। मामले में बयान के साथ तकनीकी साक्ष्य जुटाने की कोशिश की जा रही है।
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