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ट्रकों की हड़ताल से ठप पड़ा उद्योगों का माल ढुलान, पेट्रोल-डीजल की दिक्कत नहीं

ट्रकों की बेमियादी हड़ताल का असर अब खाद्य आपूर्ति पर भी पड़ने लगा है। हड़ताल से आलू, प्याज व सेब की आपूर्ति प्रभावित हुई है।

By Raksha PanthariEdited By: Updated: Mon, 23 Jul 2018 05:22 PM (IST)
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ट्रकों की हड़ताल से ठप पड़ा उद्योगों का माल ढुलान, पेट्रोल-डीजल की दिक्कत नहीं
देहरादून, [जेएनएन]: ट्रकों की बेमियादी हड़ताल का असर अब खाद्य सामग्री की आपूर्ति पर भी दिखने लगा है। आलू, प्याज और सेब की आवक में तेजी से कमी आई है। ऐसे में इनके महंगा होने का अंदेशा भी बढ़ गया है। बताया जा रहा कि हड़ताल के तीसरे दिन भी 40 करोड़ रुपये से ऊपर का कारोबार प्रभावित हुआ। औद्योगिक ईकाइयों की चिंता सबसे ज्यादा बढ़ रही है। पक्का माल डिलीवर नहीं हो रहा और कच्चे माल की सप्लाई भी रुकी पड़ी है। ट्रक आपरेटर्स ने बताया कि जब तक केंद्र सरकार उनकी मांगें नहीं मानती, वे हड़ताल नहीं तोड़ेंगे।

पिछले तीन दिन से राज्य में दो लाख ट्रकों के पहिए थमे हुए हैं। इस अंतराल में 200 करोड़ रुपये का कारोबार प्रभावित हो चुका है। अभी तक फर्नीचर, कपड़े, लोहे, लकड़ी, ईंट आदि वस्तुओं के कारोबार पर असर दिख रहा था लेकिन रविवार से फल व सब्जियों पर भी असर दिखने लगा। इस हड़ताल में यूं तो जरूरी सेवाओं को छूट दी हुई है लेकिन आलू, प्याज व सेब की आपूर्ति प्रभावित हुई है।

राज्य में आलू भी अलग-अलग जगह से आता है और प्याज नासिक से आती है। कश्मीरी सेब भी नहीं आ रहा। मंडी समिति पटेलनगर में ट्रकों के पहिए थमने से मंडी शुल्क में भी भारी नुकसान हो रहा है। आढ़ती अभी बैकलॉग से काम चला ले रहे हैं मगर यह भी अब खत्म होने को है। वहीं, ट्रांसपोर्टर चौधरी उमेश अहलूवालिया ने बताया कि हड़ताल जारी रखने का एलान किया गया है। केंद्र अभी तक वार्ता को तैयार नहीं है। ऐसे में वे भी पीछे नहीं हटेंगे। बता दें कि केंद्र सरकार के नए रोड सेफ्टी बिल के कुछ प्रस्तावों को लेकर ट्रक आपरेटर्स नाराज हैं। उनकी बुधवार से देशव्यापी बेमियादी हड़ताल चल रही है। 

पेट्रोल-डीजल की दिक्कत नहीं

पेट्रोल-डीजल की आपूर्ति पर संशय खत्म हो गया है। रविवार को इनके ट्रक पहुंच गए। पेट्रोल पंप मालिकों ने बताया कि हड़तालियों ने उनके ट्रकों को छूट दे दी है।

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