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World Population Day 2020: जिस रोजगार को जड़ों से उखड़े, अब वही माटी से जोड़ेगा

World population Day 2020 बढ़ती जनसंख्या चुनौती भी है तो उससे पार पाने का जरिया भी। यह इस बात पर निर्भर करता है कि उसका नियोजन किस तरीके से किया गया है।

By Raksha PanthariEdited By: Updated: Sat, 11 Jul 2020 09:14 PM (IST)
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World Population Day 2020: जिस रोजगार को जड़ों से उखड़े, अब वही माटी से जोड़ेगा
देहरादून, सुमन सेमवाल। World Population Day 2020 बढ़ती जनसंख्या चुनौती भी है तो उससे पार पाने का जरिया भी। यह इस बात पर निर्भर करता है कि उसका नियोजन किस तरीके से किया गया है। शनिवार यानि आज विश्व जनसंख्या दिवस है। कोरोना संक्रमण के चलते 2021 की जनगणना अनिश्चितकाल के लिए टाल दी गई है, मगर जनसंख्या का नियोजन तो किया ही जा सकता है। कोरोना की जिस महामारी के चलते अपना रोजगार छोड़कर अब तक करीब पांच लाख प्रवासी उत्तराखंड लौट चुके हैं, उन्हें उन्हीं के आसपास रोजगार के लिहाज से नियोजित करने की जरूरत है। फिर भला कौन अपनी माटी से दूर होना चाहेगा। अच्छी बात यह है कि उत्तराखंड वापस लौटे प्रवासियों को रोजगार देने के लिए होप (हेल्पिंग आउट पीपुल एवरीव्हेर) पोर्टल लॉन्च किया गया है। मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना से तमाम विभागों की योजनाओं को जोड़ा जा रहा है।

प्रवासी पंजीकरण व्यवस्था के माध्यम से ही अब तक उत्तराखंड में तीन लाख लोग लौट चुके हैं। इससे पहले करीब दो लाख लोगों के लौटने का अनुमान है। जाहिर है तमाम लोग अपना रोजगार छोड़कर वापस लौटे हैं तो बड़ी संख्या में उनका रोजगार कोरोना की विकट परिस्थितियों ने लील लिया। जाहिर है एक अदद रोजगार के बिना प्रवासी कब तक जड़ों से जुड़े रह पाएंगे। लिहाजा, जरूरत है कि रोजगार की जो भी योजनाएं सरकार चला रही हैं, उन पर गंभीरता से काम किया जाए। 

हर एक व्यक्ति का नियोजन किया जाए और समय समय पर उसकी ऑडिटिंग भी हो। हालांकि, अच्छे संकेत यह हैं कि रोजगार के लिए होप पोर्टल पर अब तक 14 हजार से अधिक लोग पंजीकरण करा चुके हैं और 446 लोगों को रोजगार भी मिल चुका है। उद्योगों  और विभिन्न कंपनियों को भी इसमें पंजीकरण कराकर रिक्त पदों का ब्यौरा उपलब्ध कराने को कहा गया है। जनसंख्या दिवस के उपलक्ष्य पर और जनगणना के दौर में जनसंख्या का यह नियोजन प्रदेश में रोजगार के आंकड़े भी दुरुस्त करेगा।

होप पोर्टल पर पंजीकरण की स्थिति

जिला, संख्या

देहरादून, 3503

ऊधमसिंहनगर, 1799

रुद्रप्रयाग, 1531

अल्मोड़ा, 1416

टिहरी,  1347

नैनीताल, 1209

पौड़ी,    1062

हरिद्वार,  640

बागेश्वर,  479

चंपावत, 379

चमोली, 359

पिथौरागढ़, 306

ऊत्तरकाशी, 302

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मई में शुरू होना था जनगणना का पहला चरण

कोरोना के बढ़ते संक्रमण के चलते वर्ष 2021 की जनगणना भी टाल दी गई है। जनगणना का पहला चरण एक मई से 15 जून तक होना था, जो कि शुरू नहीं हो पाया। जनगणना कार्य निदेशालय के उप निदेशक शैलेंद्र सिंह नेगी ने बताया कि अभी सिर्फ लॉकडाउन से पहले जिला स्तर का प्रशिक्षण हो पाया था। मुख्य जनगणना फरवरी 2021 में होनी थी। इस पर अभी असमंजस बरकरार है, क्योंकि अभी पहला चरण भी शुरू नहीं हो पाया है।

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