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युवाओं को नागवार गुजरी मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत की ‘संस्कारी नसीहत’

मुंख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत की ‘संस्कारी नसीहत’ युवाओं को नागवार गुजरी। सीएम ने युवाओं का संस्कारवान बनने का पाठ पढ़ाते हुए कहा था कि आज के युवा फटी जींस पहनकर खुद को बड़ा समझने लगते हैं। उनके इस बयान पर युवाओं की तीखी प्रतिक्रिया सामने आ रही है।

By Sunil NegiEdited By: Updated: Thu, 18 Mar 2021 08:14 AM (IST)
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मुंख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत की ‘संस्कारी नसीहत’ युवाओं को नागवार गुजरी।
जागरण संवाददाता, देहरादून। मुंख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत की ‘संस्कारी नसीहत’ युवाओं को नागवार गुजरी। सीएम ने युवाओं का संस्कारवान बनने का पाठ पढ़ाते हुए कहा था कि आज के युवा फटी जींस पहनकर खुद को बड़ा समझने लगते हैं। उनके इस बयान पर युवाओं की तीखी प्रतिक्रिया सामने आ रही है। इंटरनेट मीडिया पर युवाओं ने इस पर न केवल नाराजगी जाहिर की, बल्कि यह भी राय दे डाली कि संस्कार कपड़ों से नहीं, व्यक्ति के कर्मो से आते हैं।

एक रोज पहले बाल अधिकार संरक्षण आयोग ने बच्चों में बढ़ती नशे की प्रवृत्ति, रोकथाम और पुनर्वास विषय पर कार्यशाला आयोजित की थी। मुख्यमंत्री बतौर मुख्य अतिथि इसमें शामिल हुए, उन्होंने करीब 20 मिनट तक युवाओं को संबोधित किया। मुख्यमंत्री ने बच्चों में बढ़ती नशाखोरी की प्रवृत्ति पर चिंता जाहिर की, साथ ही नशा समेत तमाम विकृतियों से बच्चों को बचाने के लिए उन्हें संस्कारवान बनाने की सलाह दी।

इसी दरिम्यान मुख्यमंत्री ने मजाकिया लहजे में युवाओं के फैशन स्टाइल पर भी टिप्पणी की। कहा कि, युवाओं को फटे हुए कपड़े पहने देखकर उन्हें आश्चर्य होता है। इस पर मुख्यमंत्री ने एक किस्सा भी साझा किया। बताया कि एक बार वह हवाई जहाज से यात्रा कर रहे थे। उनके पास एक महिला दो बच्चों के साथ बैठी थी। उसकी जींस जगह-जगह से फटी थी। पूछने पर महिला ने बताया कि वह दिल्ली जा रही हैं। उनके पति एक नामचीन शिक्षण संस्थान में प्रोफेसर हैं और वह खुद एक एनजीओ चलाती हैं। मुख्यमंत्री ने आगे जोड़ा कि, यह देखकर उन्हें हैरानी हुई कि पढ़े-लिखे लोग भी अपनी संस्कृति को भूलते जा रहे हैं। पहाड़ की युवतियां और युवक बड़े शहरों में कुछ समय बिताने के बाद जब लौटते हैं तो खुद को हीरो-हीरोइन समझने लगते हैं।

मुख्यमंत्री की इन बयानों पर बुधवार को पूरे दिन प्रतिक्रियाएं आती रहीं। खासकर, इंटरनेट मीडिया पर युवाओं ने मुख्यमंत्री के इस बयान पर कटाक्ष किए। कुछ युवाओं ने लिखा कि कपड़ों से किसी को संस्कारवान होने का सर्टिफिकेट नहीं दिया जा सकता तो कुछ ने कर्मो और व्यवहार से संस्कारों का परिचय मिलने की बात कही।

कुछ युवाओं का यह भी कहना था कि मुख्यमंत्री को किसी का पहनावा तय करने का कोई अधिकार नहीं। इंटरनेट मीडिया पर प्रतिक्रिया देने वाले कुछ युवाओं ने मुख्यमंत्री के इस बयान को मजाकिया अंदाज में जोक और मीम के रूप में पोस्ट व शेयर किया।

महिलाओं से माफी मांगें सीएम : प्रीतम

प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष प्रीतम सिंह ने युवाओं के संबंध में मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत के वक्तव्य पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री की सोच महिलाओं के परिधानों के संबंध में ऐसी है तो महिला सुरक्षा और सशक्तीकरण की स्थिति का सहज ही अंदाजा लगाया जा सकता है। उन्हें महिलाओं से माफी मांगनी चाहिए। एक बयान में प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा कि मुख्यमंत्री को इस बयान के लिए महिलाओं से माफी मांगनी चाहिए। 

सीएम को भाषा की मर्यादा का पालन करना चाहिए: गरिमा

प्रदेश कांग्रेस कमेटी की प्रवक्ता गरिमा दसौनी ने मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत के युवाओं को लेकर दिए गए बयान की निंदा की है। दसौनी ने आरोप लगाते हुए कहा कि मुख्यमंत्री ने मंगलवार को एक कार्यक्रम के दौरान कहा कि ‘फटी जींस पहनकर आजकल के युवा खुद को बड़े बाप का बेटा समझते हैं’। दसोनी ने बुधवार को बयान जारी कर कहा कि आम आदमी हो या मुख्यमंत्री भाषा की मर्यादा का पालन सभी को करना चाहिए। बच्चे हों या बड़े मुख्यमंत्री बन जाने से किसी को भी यह हक नहीं है कि वह किसी के व्यक्तिगत जीवन, पहनावे या रहन-सहन खानपान पर टिप्पणी करें। ऐसे में मुख्यमंत्री को जरूरत है कि वह संस्कारों की शिक्षा देने की शुरुआत अपने ही घर से करें, दूसरों के बच्चों पर टिप्पणी न करें।

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