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Haridwar Kumbh 2021: हरिद्वार कुंभ में अखाड़ों को भूमि आवंटन के आदेश जारी

Haridwar Kumbh 2021 हरिद्वार कुंभ क्षेत्र में अखाड़ों की छावनी कैंप और टेंट लगाने के लिए प्रदेश सरकार ने मेला अधिष्ठान को भूमि आवंटन के आदेश जारी कर दिए हैं। इससे कुंभ में महामंडलेश्वर नगर के साथ शंकराचार्यनगर और अखाड़ों की छावनी की स्थापना का रास्ता साफ हो गया है।

By Sumit KumarEdited By: Updated: Thu, 21 Jan 2021 10:59 PM (IST)
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गुरुवार शाम को मेलाधिकारी दीपक रावत ने इसकी पुष्टि की है।
जागरण संवाददाता, हरिद्वार : Haridwar Kumbh 2021 हरिद्वार कुंभ क्षेत्र में अखाड़ों की छावनी, कैंप और टेंट लगाने के लिए प्रदेश सरकार ने मेला अधिष्ठान को भूमि आवंटन के आदेश जारी कर दिए हैं। इससे कुंभ में महामंडलेश्वर नगर के साथ ही शंकराचार्यनगर और अखाड़ों की छावनी की स्थापना का रास्ता साफ हो गया है। गुरुवार शाम को मेलाधिकारी दीपक रावत ने इसकी पुष्टि की है। उन्होंने बताया कि अब अखाड़ों, धार्मिक और सामाजिक संस्थाओं को कुंभ मेला क्षेत्र में भूमि आवंटन का कार्य आरंभ हो जाएगा। उधर, शहरी विकास सचिव शैलेश बगौली ने बताया कि कैंपिंग के मामले में केंद्र सरकार से भी परामर्श लिया जा रहा है। 

प्रदेश सरकार के आदेश न होने के कारण मेला अधिष्ठान अब तक भूमि आवंटन का कार्य नहीं कर पा रहा था। जिसके चलते अब तक मेला क्षेत्र में अखाड़ों के कैंप और टेंट नहीं लग पाए थे। कुंभ मेलाधिकारी दीपक रावत ने बताया कि मेला अधिष्ठान अखाड़ों को उनकी जरूरत के मुताबिक एक साथ भूमि का आवंटन कर देता है, इसके बाद अखाड़े अपनी-अपनी जरूरत के मुताबिक अपने महामंडलेश्वर व अन्य संत-महात्माओं को उनकी आवश्यकता के अनुसार टेंट व कैंप लगाने को भूमि देते हैं। इससे मेला अधिष्ठान का कोई लेना-देना नहीं होता। इसके विपरीत आश्रम, मठ-मंदिरों, धार्मिक और सामाजिक संस्थाओं को उनकी मांग के अनुसार मेला अधिष्ठान सीधे भूमि आवंटन करता है। 

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भूमि आवंटन को 350 से अधिक आवेदन 

अब तक कुंभ मेला अधिष्ठान के पास मेला क्षेत्र में भूमि आवंटन के लिए 350 से अधिक संस्थाओं के आवेदन आ चुके हैं। मेलाधिकारी दीपक रावत ने बताया कि भूमि आवंटन के लिए मेला अधिष्ठान वर्ष 2010 के मानकों का ही पालन करेगा और अधिकांश अखाड़ों को वर्ष 2010 में मिली जगहों पर ही भूमि का आवंटन किया जाएगा। उन्हें उसी के मुताबिक ही भूमि भी दी जाएगी। आवश्यकता होने पर ही इन्हें बढ़ाया जाएगा।

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