बंशीधर भगत ने उपेक्षा के दौर में भी गिरने नहीं दिया मनोबल, राजनीतिक कौशल से बढ़ाया अपना कद
उतार-चढ़ाव जिंदगी का मुख्य हिस्सा है लेकिन बंशीधर भगत अपनी अनूठी कार्यकुशलता से जिंदगी के हर उतार-चढ़ाव को सहजता से पार कर जाते हैं।
By Skand ShuklaEdited By: Updated: Fri, 17 Jan 2020 01:28 PM (IST)
हल्द्वानी, जेएनएन : उतार-चढ़ाव जिंदगी का मुख्य हिस्सा है, लेकिन बंशीधर भगत अपनी अनूठी कार्यकुशलता से जिंदगी के हर उतार-चढ़ाव को सहजता से पार कर जाते हैं। ऐसा नहीं कि उनके जीवन में राजनीतिक संकट न आया हो। कई बार विधायक बनने के बावजूद उन्हें छह महीने तक मंत्रिमंडल में शामिल नहीं किया गया। ऐसे कठिन दौर में भी भगत ने धैर्य नहीं खोया। बगावत नहीं की। अतत: इस धैर्य का उन्हें फल मिल ही गया।
वेट एंड वाच की रही रणनीति बात वर्ष 2000 की है। उत्तराखंड अलग राज्य बना था। दूसरे मुख्यमंत्री के रूप में भगत सिंह कोश्यारी ने जिम्मेदारी संभाल ली थी। तब भी बंशीधर को छह महीने तक मंत्री नहीं बनाया। वह चुपचाप अपने राजनीतिक मिशन में जुटे रहे। उन्होंने इस नाराजगी को न अपने चेहरे पर आने दिया और न ही मीडिया की सुर्खियां ही बनने दी। बाद में मंत्री बने। यही स्थिति एक बार फिर उत्पन्न हुई। 2017 में भी भाजपा प्रचंड बहुमत से जीती।
मंत्रीमंडल में भी नहीं मिल सकी जगह माना जा रहा था कि छठी बार विधायक बनने वाले राजनीति के बड़े चेहरे बंशीधर का नाम मंत्रिमंडल में होगा, लेकिन ऐसा नहीं हुआ। ढाई साल सरकार बने हो गए हैं। उन्होंने कोई प्रतिक्रिया नहीं दी। विधानसभा क्षेत्र और उससे बाहर भी दौरा करते रहे। लोगों से लेकर कार्यकर्ताओं से संवाद जारी रखा। राजनीतिक रैलियां हों या बैठकें, हर जगह पूरी जिम्मेदारी से पार्टी की गतिविधियों में शामिल रहे। बड़ी रैलियां आयोजित कीं। मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत को आमंत्रित करते रहे। यही उनका राजनीतिक कौशल और नीति थी कि वह मुकाम हासिल हो गया, जिसे पाने के लिए एक नेता अपनी पूरी जिंदगी राजनीति को समर्पित कर देता है।
सभी को साथ लेकर चलने की क्षमता : हेमंत द्विवेदीहेमंत द्विवेदी, पूर्व दर्जा राज्य मंत्री ने कहा कि बंशीधर भगत को प्रदेश अध्यक्ष बनाने पर केंद्रीय व प्रदेश नेतृत्व का आभार। भगत जी में सभी को साथ लेकर चलने की क्षमता है। वह एक-एक कार्यकर्ता को जानते हैं। प्रदेश को समझते हैं। उनके आने से पार्टी राज्य में बेहतर प्रदर्शन करेगी।भगत जी के प्रति मन में अपार सम्मान : रेनू अधिकारी
रेनू अधिकारी, दर्जा राज्य मंत्री ने कहा कि हाईकमान के निर्णय पर हम खुश हैं। उन्हें ढेर सारी बधाई। छह बार विधायक बने हैं। हम उनका बहुत सम्मान करते हैं। उनका व्यवहार हर व्यक्ति को सम्मान देने वाला है।
भगत समझते हैं कार्यकर्ताओं की नब्ज : प्रदीप बिष्ट प्रदीप बिष्ट, जिलाध्यक्ष, नैनीताल ने कहा कि बंशीधर भगत जमीनी नेता हैं। कार्यकर्ताओं की नब्ज को अच्छी तरह समझते हैं। उनके दिशा निर्देशन में संगठन और अधिक गति से आगे बढ़ेगा। पार्टी हाईकमान का भी आभार।
संगठन के प्रति निष्ठावान हैं भगत : तरुण बंसल तरुण बंसल, कुमाऊं मीडिया प्रभारी ने कहा कि ऐसे नेता को प्रदेश अध्यक्ष की जिम्मेदारी दी है, जो संगठन के प्रति निष्ठावान हैं। यह हम सभी के लिए गर्व की बात है। इससे पार्टी कार्यकर्ताओं में जोश है। पार्टी और बेहतर काम करेगी।यह भी पढ़ें : रामलीला में दशरथ का किरदार निभाने वाले बंशीधर भगत बने उत्तराखंड भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष
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