शिक्षकों के आंदोलन मामले में हाईकोर्ट सख्त, सरकार से स्थिति साफ करने को कहा
हाई कोर्ट ने शिक्षकों के शिक्षण कार्य को छोड़कर आंदोलन में शामिल होने पर सख्त नाराजगी जाहिर की है। साथ ही सरकार से स्थिति साफ करने के निर्देश दिए हैं।
By BhanuEdited By: Updated: Wed, 01 Aug 2018 02:41 PM (IST)
नैनीताल, [जेएनएन]: तमाम मांगों को लेकर सरकार के खिलाफ आर-पार की जंग का एलान कर चुके राजकीय शिक्षक संघ की तालाबंदी और धरना-प्रदर्शन का मामला हाई कोर्ट पहुंच गया है। कोर्ट ने शिक्षकों के शिक्षण कार्य को छोड़कर आंदोलन में शामिल होने पर सख्त नाराजगी जाहिर की है। साथ ही सरकार से स्थिति साफ करने के निर्देश दिए हैं।
ऊधमसिंह नगर के सुभाष नगर बकेनियां निवासी अजय कुमार तिवारी ने जनहित याचिका दायर कर कहा है कि प्रदेश के सरकारी स्कूलों में पहले से शिक्षकों की कमी है, इसके बाद भी शिक्षक हड़ताल पर जाने पर आमादा है। शिक्षकों के आंदोलन से गरीब छात्रों का भविष्य अंधकारमय हो रहा है। याचिकाकर्ता ने हड़ताली शिक्षकों के खिलाफ एस्मा के तहत कार्रवाई करने के साथ कानूनी कार्रवाई की मांग की है। याचिका में कहा गया है कि सरकारी कर्मचारियों का हड़ताल करना संवैधानिक अधिकार नहीं है। मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति केएम जोसफ व न्यायमूर्ति शरद कुमार शर्मा की खंडपीठ ने मामले में स्थिति साफ करने के निर्देश सरकार को दिए हैं।
खत्म हो सकता है आंदोलन कोर्ट की सख्ती के बाद शिक्षकों का आंदोलन भी खत्म होने की उम्मीद दिख रही है। बता दें कि संघ के प्रांतीय अध्यक्ष, प्रांतीय महामंत्री व पूर्व प्रांतीय अध्यक्ष के तबादले के बाद राजकीय शिक्षक संघ ने जिलों में तालाबंदी आंदोलन का एलान कर डाला है। जबकि सरकार ने तालाबंदी करने वाले शिक्षकों पर मुकदमा दर्ज करने की चेतावनी दी है।
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