हार्इ कोर्ट का आदेश, स्वामी सानंद की मांगों पर विचार करें मुख्य सचिव
हार्इ कोर्ट मुख्य सचिव को आदेश दिए हैं कि स्वामी ज्ञानस्वरूप सानंद के साथ बैठक कर मांगों पर विचार किया जाए।
By Raksha PanthariEdited By: Updated: Wed, 11 Jul 2018 08:32 PM (IST)
नैनीताल, [जेएनएन]: हाई कोर्ट ने राज्य के मुख्य सचिव को मातृसदन हरिद्वार में गंगा में प्रस्तावित जल विद्युत परियोजनाओं के विरोध में उपवास कर रहे स्वामी ज्ञानस्वरूप सानंद के साथ बैठक करने व स्वामी सानंद की मांगों पर सहानुभूतिपूर्वक विचार करने का आदेश पारित किया है। साथ ही कोर्ट ने कहा कि स्वामी सानंद को जिस स्थान पर रखा गया है, उसकी सूचना उनके समर्थकों को दें। जिला प्रशासन को निर्देश दिए हैं कि यदि स्वामी सानंद अस्वस्थ हैं तो उन्हें एम्स ऋषिकेश में भर्ती किया जाए।
गंगा में बांधों के खिलाफ उपवास कर रहे स्वामी ज्ञानस्वरूप सानंद ने हाईकोर्ट में याचिका दायर कर कहा है कि वह गंगा में निर्माणाधीन जल विद्युत परियोजनाओं भागीरथी, पाला मनेरी, लोहारी नागपाला व भैंरोघाटी के विरोध में 22 जून को मातृसदन हरिद्वार में उपवास पर बैठे थे। दस जुलाई को हरिद्वार पुलिस ने उन्हें अनशन स्थल से हटाकर अज्ञात स्थान पर रखा है। पुलिस द्वारा उनके समर्थकों के साथ अमानवीय व्यवहार किया गया। पुलिस का यह बर्ताव मानवाधिकारों के खिलाफ है। याची गंगा को बचाने के लिए उपवास पर था। यदि पुलिस को उन्हें हटाना था तो इसकी सूचना दी जानी चाहिए थी। वरिष्ठ न्यायाधीश न्यायमूर्ति राजीव शर्मा व न्यायमूर्ति आलोक सिंह की खंडपीठ ने बुधवार को मामले को सुनने के बाद राज्य के मुख्य सचिव को 12 घंटे के भीतर स्वामी ज्ञान स्वरूप सानंद के साथ उनके द्वारा उठाए गए संवेदनशील मुद्दों पर वार्ता करने को कहा है। राज्य के प्रमुख सचिव गृह को निर्देश दिए हैं कि स्वामी सानंद को जिस स्थान पर रखा गया है, उसकी सूचना उनके समर्थकों को दें।
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