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diwali celebration दीप पर्व पर पटाखे की बजाय पौधे करें गिफ्ट, आतिशबाजी करते समय रखें इन बातों का ख्याल

दीपों के पर्व का उल्लास बना रहे इसके लिए थोड़ी सावधानी बरतें तो इस उल्लास में और भी रंग घुलेगा। त्योहार खुशियों वाली ही रहे इसका प्रयास भी हमे-आपको ही करना है।

By Skand ShuklaEdited By: Updated: Sun, 27 Oct 2019 05:25 PM (IST)
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diwali celebration दीप पर्व पर पटाखे की बजाय पौधे करें गिफ्ट, आतिशबाजी करते समय रखें इन बातों का ख्याल
हल्द्वानी, जेएनएन : दीपों के पर्व का उल्लास बना रहे, इसके लिए थोड़ी सावधानी बरतें तो इस उल्लास में और भी रंग घुलेगा। केवल अपने लिए ही नहीं, दूसरों के लिए भी यह त्योहार खुशियों वाली ही रहे, इसका प्रयास भी हमे-आपको ही करना है। इसलिए अधिक शोर करने वाले पटाखों से दूरी बनाएं। क्योंकि यह जहां कान से लेकर दिमाग तक को नुकसान पहुंचा सकते हैं, वहीं धुएं से सांस के रोगियों को भी तकलीफ हो सकती है। चिकित्सा विशेषज्ञ व प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के अधिकारी भी कहते हैं कि थोड़ी सावधानी बरती जाए तो दीपों के पर्व का उल्लास कई गुना बढ़ जाएगा।

इन मानकों का भी रखें ध्यान

पीसीबी के क्षेत्रीय अधिकारी आरके चतुर्वेदी बताते हैं कि आबादी वाले क्षेत्रों में 55 डेसिबल से अधिक आवाज वाले पटाखे न जलाएं। कॉमर्शियल क्षेत्र में 75 डेसिबल तक का शोर नुकसान पहुंचाने लगता है। अस्पतालों के आसपास पूरी तरह साइलेंट जोन है। इसलिए दीपावली में अपनी खुशी का इजहार करते समय औरों की खुशी का भी ध्यान रखा जाए तो बेहतर रहेगा।

पटाखों के बजाय पौधे दें उपहार

पीसीबी के क्षेत्रीय अधिकारी कहते हैं कि पटाखे से धुएं का स्तर कई गुना बढ़ जाता है। वायु प्रदूषण रोकने के लिए हर स्तर पर पहल जरूरी है। त्योहार मनाने का उत्साह तब और अधिक हो जाएगा, जब एक-दूसरे को पटाखे के बजाय पौधे उपहार में दिए जाएं।

महिला अस्पताल व जल संस्थान में लगी प्रदूषण जांच की मशीन

पीसीबी ने प्रदूषण की जांच के लिए महिला अस्पताल व जल संस्थान के पास प्रदूषण जांच यंत्र लगाया है। महिला अस्पताल के पास लगे यंत्र की जांच तीन नवंबर को की जाएगी।

बेस व एसटीएच में तैनात रहेंगे डॉक्टर

त्योहार के चलते सरकारी अस्पतालों की इमरजेंसी में भी पूरी व्यवस्था की गई है। बेस अस्पताल के प्रमुख चिकित्सा अधीक्षक डॉ. हरीश लाल का कहना है कि इमरजेंसी में हर समय डॉक्टर तैनात रहेंगे। अन्य स्टाफ की भी तैनाती की गई है। मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य डॉ. सीपी भैंसोड़ा का कहना है कि एसटीएच की इमरजेंसी में भी पूरी व्यवस्था की गई। दवाइयां भी उपलब्ध हैं।

पटाखे जलाने वक्त बरतें ये सावधानी

- खुली जगह पर ही पटाखे फोड़ें।

- पटाखा जलाते समय लंबी मोमबत्ती, अगरबत्ती अथवा फूलझड़ी का इस्तेमाल करें।

- पटाखा जलाते समय अपने शरीर को उससे दूर रखें।

- शरीर को कपड़ों से ढके रहें व जूते पहनें।

- बच्चों को अभिभावक या बड़ों की उपस्थिति में ही पटाखा जलाने दें।

- ऐसे स्थानों पर कंबल, पानी व रेत से भरी बाल्टी अवश्य रखें।

- सार्वजनिक सड़क पर पटाखे न जलाएं।

- पटाखों को हाथ में रखकर कभी न जलाएं।

 - आने-जाने वाले लोगों व जानवरों पर पटाखे जलाकर नहीं फेंके।

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