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India-Nepal Border Dispute: नेपाल काली नदी किनारे सड़क बनाने की कर रहा तैयारी

चीन के इशारे पर कठपुतली की तरह नाच रहा नेपाल भारत से लगी सीमा पर आवश्यकता से अधिक सक्रिय नजर आ रहा है।

By Skand ShuklaEdited By: Updated: Thu, 18 Jun 2020 11:21 AM (IST)
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India-Nepal Border Dispute: नेपाल काली नदी किनारे सड़क बनाने की कर रहा तैयारी
झूलाघाट/ धारचूला ( पिथौरागढ़), जेएनएन : चीन के इशारे पर कठपुतली की तरह नाच रहा नेपाल भारत से लगी सीमा पर आवश्यकता से अधिक सक्रिय नजर आ रहा है। नेपाली सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार नेपाल भी काली नदी किनारे सीमा पर दार्चुला-टिंकर सड़क निर्माण की तैयारी कर रहा है। इस सड़क की लंबाई 134 किमी है। दार्चुला से सुनसेरा, तिसरेपानी तक 47 किमी सड़क नेपाल का सड़क निर्माण विभाग बना चुका है और अब आगे की 87 किमी मार्ग का निर्माण कार्य नेपाल सेना को दे दिया गया है। पहले चरण पर घाटीबगड़ में जहां सेना की छावनी के लिए जवानों की एक टुकड़ी तैनात की है। वहां पर बुजी तक चार सौ मीटर पैदल मार्ग सेना बना रही है। यहां पर अति दुर्गम चट्टानें हैं। इस मार्ग निर्माण की खबर दैनिक जागरण ने दो दिन पूर्व के अंक में प्रमखता से प्रकाशित किया है। नेपाल से मिली जानकारी के अनुसार नेपाल छांगरु तक सड़क भारत सीमा के समानान्तर बना रहा है। छांगरु के बाद सड़क उत्तर पूर्व की तरफ नेपाल चीन सीमा तक बनेगी। सेना और बल के अधिकारियों ने बुधवार का इसका निरीक्षण किया।

भारत को आने वाले मोबाइल सिग्नल भी किए बाधित

उच्च हिमालयी व्यास घाटी में नेपाल के मोबाइल टावरों से मिलने वाले सिग्नल भी नेपाल ने बंद कर दिए हैं। नेपाल के छांगरु के पास लगे मोबाइल टावर के सिग्नल भारत में पकड़ते थे। भारत के संचार विहीन क्षेत्र में लोग नेपाली सिम से बातचीत कर लेते थे। इस बीच सूचना मिली है कि नेपाल ने अपने टावरों पर नेटवर्क जैमर लगाकर भारत की तरफ आने वाले सिग्नल रोक दिए हैं।

खलंगा में किया बीओपी चौकी का उद्घाटन

बुधवार को छांगरु से लौटने के बाद नेपाल सशस्त्र बल के महानिरीक्षक शैलेंद्र खनाल ने दार्चुला के खलंगा में बल की बीओपी चौकी का उद्घाटन किया। इस मौके पर उन्होंने कहा कि नेपाल के दार्चुला जिले की भारत से 125 किमी और चीन से 20 किमी सीमा लगती है। सीमा पर बल के जवान मुस्तैद रहते हैं। भारत सीमा पर नेपाल में बल की छांगरु, लाली, जौलजीवी और दुमलिंग में बीओपी चौकियां हैं। इन चार बीओपी चौकियां की कमान खलंगा स्थित सशस्त्र बल की गुल्म (बटालियन ) के अंतर्गत है।

सेना प्रमुख व सशस्त्र बल के आइजीपी पहुंचे छांगरु

बीते माह छांगरु में खुली नेपाल सशस्त्र पुलिस की बीओपी चौकी और बूंदी से आगे घाटीबगड़ में तैनात नेपाल सेना के जवानों का हालचाल लेने नेपाल के सेना प्रमख और नेपाल सशस्त्र पुलिस बल के महानिरीक्ष छांगरु पहुंंचे हैं। दोनों अधिकारियों ने नेपाल में मालपा के सामने अपने देश में सीमा तक बन रहे पैदल मार्ग का भी निरीक्षण किया।

सदन में नए नक्शे का प्रस्ताव कर चुका है पारित

आठ मई को गर्बाधार-लिपूलेख मार्ग का रक्षामंत्री राजनाथ सिंह द्वारा ई उद्घाटन करने के बाद अपने सुर बदलने वाला नेपाल सुदूर पश्चिमांचल नेपाल के महाकाली अंचल को लेकर ज्यादा ही उतावला नजर आ रहा है। आनन फानन में छांगरु में बीओपी चौकी, घाटीबगड़ के पास सेना तैनात करने के बाद भारत पर कालापानी, लिपुलेख, लिम्पियाधुरा हथियाने का आरोप लगा कर सदन में अपने नए नक्शा का प्रस्ताव तक पारित करा चुका है। महाकाली अंचल में अब उसका पूरा ध्यान मालपा के सामने काली नदी पार अपनी भूमि पर पैदल मार्ग निर्माण पर है। नेपाल सेना को पैदल मार्ग निर्माण का जिम्मा दिया गया है।

नेपाल सेना के जवानों से भेंट की

बुधवार को नेपाल सेना के प्रधान सेनापति आर्मी चीफ पूर्ण चंद्र थापा और नेपाल सशस्त्र बल के महानिरीक्षक शैलेंद्र खनाल नेपाल सेना के हेलीकॉप्टर से कैलाली, दार्चुला होते हुए छांगरु को गए। जहां पर घाटीबगड़ में बीते दिनों से तैनात नेपाल सेना के जवानों से भेंट की और बाद में छांगरु पह्रंचे। बीओपी चौकी का निरीक्षण कर अपने जवानों को दिशा-निर्देश दिए। दोनों अधिकारियों द्वारा सीमा का अवलोकन किया गया।

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