इन बेटियों पर है नाज, एक ने पंच से तो दूसरे ने बल्ले से बढ़ाया काशीपुर का मान
उत्तराखंड की बेटियां आसमान चूम रही हैं। इन दो बेटियों की उपलब्धि इस बात की गवाह है। काशीपुर की दो बेटियों ने मेहनत और लगन से अपने सपनों को पूरा किया है।
By Skand ShuklaEdited By: Updated: Sun, 23 Dec 2018 05:00 PM (IST)
काशीपुर जेएनएन : उत्तराखंड की बेटियां आसमान चूम रही हैं। इन दो बेटियों की उपलब्धि इस बात की गवाह है। काशीपुर की दो बेटियों ने मेहनत और लगन से अपने सपनों को पूरा किया है। काशीपुर की बेटी प्रियंका चौधरी ने अपने पंच से वर्ल्ड रैंकिंग में बॉक्सिंग में 18वें पायदान पर पहुंच गई हैं तो यहीं की श्वेता वर्मा क्रिकेट की दुनिया में चमक बिखेर रही हैं। अंतरराष्ट्रीय क्रिकेटर सचिन तेंदुलकर के खेल की कायल श्वेता वर्मा का इंडिया ग्रीन चैलेंजर ट्रॉफी के लिए चयन हुआ है। वह हाईलेंडर स्पोटर्स एकेडमी काशीपुर में करीब दो साल से प्रशिक्षण ले रही हैं। तो आइए आपको पहले प्रियंका और श्वेता की उपलब्धि के बारे में विस्तार से बताते हैं।
बॉक्सर प्रियंका ने लगाई 18 पायेदान पर छलांग काशीपुर : पंच के दम पर काशीपुर की बेटी प्रियंका चौधरी ने बॉक्सिंग की वर्ल्ड रैंकिंग में ऐसी छलांग लगाई कि 18वें पायदान पर पहुंच गई। पिछले साल 25वीं रैंक थी। इस उपलब्धि से काशीपुर के खेल प्रेमियों में खुशी का माहौल है।
स्टूडेंट जीवन में प्रियंका चौधरी को क्रिकेट खेलने का शौक था। वह कुमाऊं विवि क्रिकेट टीम का हिस्सा भी रही। पिता अंतरराष्ट्रीय एथलिट विजय चौधरी की जिद बॉक्सर बनाने की थी। उसने पिता के सपने को पूरा करने के लिए क्रिकेट छोड़ पंच के खेल को अपनाया। इस खेल को जीवन समझ कर लगन व लक्ष्य के साथ पसीना बहाया तो वर्ष 2004 में पहला ब्रांज मिला। इससे हौसला बढ़ा और अंतरराष्ट्रीय मेडल हासिल करने की ठान ली। फिर क्या था एक के बाद एक कई ब्रांज, सिल्वर व गोल्ड मेडल झटके। इससे पिता की जिद पर खरा उतरी। पिछले साल 25वें रैंक पर थीं प्रियंका
इंटरनेशन बॉक्सिंग एसोसिएशन ने महिला वर्ग 10 भार वर्ग की वल्र्ड रैंकिंग जारी की तो इसमें देश के 18 महिला खिलाड़ी शामिल हैं। इनमें 60 किलोग्राम भार में प्रियंका की 18वीं रैंक है, जबकि पिछले साल 25वीं रैंक थी। प्रियंका ने एक साल में सात अंक का सुधार किया है। रैंकिंग में राज्य की इकलौती बॉक्सर महिला हैं। इस उपलब्धि पर प्रियंका के पिता विजय चौधरी, अंतरराष्ट्रीय एथलीट विजेंद्र चौधरी सहित शहर के खेल प्रेमियों में हर्ष है। मोबाइल पर प्रियंका से हुई बातचीत में बताया कि खेल के स्तर पर सुधार करने पर रैंकिंग खुद सुधारती है। भविष्य में वल्र्ड रैंकिंग में नंबर वन बनने का सपना है। इसे पाने के लिए मेहनत में कोई ढिलाई नहीं बरतेंगे।पियंका की उपलब्धियां
आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।- केरला में वर्ष 2004 में नेशनल सीनियर बॉक्सिंग चैंपियनशिप में ब्रांज
- वर्ष 2005 में सीनियर नेशनल बॉक्सिंग चैंपियनशिप में ब्रांज
- वर्ष 2006 में सीनियर नेशनल चैंपियनशिप में ब्रांज
- रुद्रपुर में वर्ष 2007 में सीनियर नेशनल चैंपियनशिप में ब्रांज
- विशाखापट्टनम में सीनियर नेशनल चैंपियनशिप में ब्रांज
- वर्ष 2007 में ऑल इंडिया इंविटेशनल नेशनल टूर्नामेंट में गोल्ड
- वर्ष 2009 में सीनियर नेशनल बॉक्सिंग चैंपियनशिप में गोल्ड
- कनाड़ा में वर्ष 2008 में ट्रेनिंग कम-कंपीटिशन में गोल्ड
- वर्ष 2010 में कजाकिस्तान में एशियन वूमैन बॉक्सिंग चैंपियनशिप में ब्रांज
- वर्ष 2011 में जमशेदपुर में नेशनल गेम्स में ब्रांज
- वर्ष 2014 में रायपुर में सीनियर नेशनल वूमैन बॉक्सिंग चैंपियनशिप में गोल्ड व बेस्ट बॉक्सर
- वर्ष 2015 में असम में सीनियर नेशनल वूमैन बॉक्सिंग चैंपियनशिप में गोल्ड
- वर्ष 2016 में हरिद्वार में नेशनल वूमैन बॉक्सिंग चैंपियनशिप में
- वर्ष 2017 में र्सिबया में छठे नेशनल कप में
- वर्ष 2017 में मंगोलिया में उल्लनबतर कप में ब्रांज
- वर्ष 2017 में कजाकिस्तान में एशियन चैंपियनशिप में
- रोहतक में वूमैन बॉक्सिंग नेशनल चैंपियनशिप में
- ओपन इंडिया इंटरनेशनल बॉक्सिंग टूर्नोमेंट में
- वर्ष 2018 में कजाकिस्तान में इंटरनेशनल बॉक्सिंग टूर्नामेंट में
- कजाकिस्तान में प्रेसिडेंट कप में