नैनीताल में नवजात मिलने का मामला : जोर-जबरदस्ती कर चचेरे भाई ने बनाया था संबंध !
पिछले दिनों नवजात शिशु को बेरहमी से नाले में फेंकने का मामला लोगों की जुबाव से गायब भी नहीं हुआ था कि मामले में नया मोड़ आता नजर आ रहा है।
By Skand ShuklaEdited By: Updated: Mon, 10 Feb 2020 09:02 AM (IST)
नैनीताल, जेएनएन : पिछले दिनों नवजात शिशु को बेरहमी से नाले में फेंकने का मामला लोगों की जुबानव से गायब भी नहीं हुआ था कि मामले में नया मोड़ आता नजर आ रहा है। साथ ही घटना के तार लोक लाज व मर्यादाओं से जुड़ते नजर आ रहे हैं। सूत्रों की माने तो नाबालिग के चचेरे भाई से नाबालिग के शारीरिक संबंध के बाद नवजात ने जन्म लिया था। वहीं एक महिला मुखबिर की सूचना के बाद पुलिस ने मामले में नाबालिग और उसके परिजनों को कोतवाली बुलाकर बयान दर्ज करवाए। सोमवार को नाबालिग के मजिस्ट्रेट के समक्ष 164 के बयान दर्ज करवाए जाएंगे।
डीएम ने की थी सूचना देने वाले को इनाम देने की घोषणा छह फरवरी को शहर के एक क्षेत्र के नाले में नवजात पड़ी हुई मिली थी। राहगीरों द्वारा नवजात को बीडी पांडे अस्पताल लाया गया। जहां प्राथमिक उपचार के बाद नवजात को एसटीएच रेफर कर दिया गया था। जहां उसे उपचार दिया जा रहा है। मामले को गंभीरता से लेते हुए डीएम सविन बंसल ने नवजात को फेंकने वाले की सूचना देने वाले को दस हजार रुपये इनाम देने की घोषणा भी की थी। पुलिस ने मामले की जांच करते हुए प्रकरण में एसआइ दीपक बिष्ट की तहरीर के बाद आइपीसी की धारा 315,307 के तहत मुकदमा पंजीकृत कर जांच शुरू कर दी थी।
मुखबिर ने दी प्रकरण में शामिल लोगों की सूचना रविवार को किसी महिला मुखबिर ने पुलिस को प्रकरण में शामिल लोगों की सूचना दी। सूचना के बाद पुलिस ने मामले में संलिप्त लोगों को कोतवाली बुलाया। जहां पूछताछ के साथ ही नाबालिग और उसके परिजनों के बयान दर्ज किए गए। सामने आया है कि नाबालिग से उसी का चचेरा भाई लंबे समय से जोर जबरदस्ती कर शारीरिक संबंध बनाया करता था, जोकि शहर के ही एक विद्यालय में कक्षा नौ का छात्र है।
नाबालिग अस्पताल में भर्तीप्रकरण में शामिल नाबालिग का शहर के एक अस्पताल में इलाज कराया जा रहा है। परिजन रविवार को उसे लेकर अस्पताल पहुंचे जहां उसे भर्ती कर दिया गया है।पहली बार प्रदेश में 307 व 315 धारा एक साथ लगाई गईकोतवाल नैनीताल अशोक कुमार सिंह ने बताया कि इस तरह का मुकदमा प्रदेश में पहली बार दर्ज किया गया है, जिसमें एक ही मामले में धारा 307 और 315 लगाई गई हो। मुखबिर की सूचना के बाद प्रकरण से जुड़े लोगों के बयान दर्ज किए गए हैं। जांच के बाद जो भी तथ्य सामने आएंगे उस आधार पर संबंधित लोगों के विरुद्ध कार्रवाई की जाएगी।
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