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74 कोरोना संक्रमितों के संपर्क में आए तीन सौ से ज्यादा लोग, जानिए कैसे होती है कॉन्टेक्ट ट्रेसिंग

Coronavirus टिहरी में कोरोना संक्रमितों का आंकड़ा बढ़ने के साथ ही जिले में उनके संपर्क में आए लोगों की संख्या का ग्राफ भी बढ़ रहा है।

By Raksha PanthariEdited By: Updated: Sat, 30 May 2020 03:26 PM (IST)
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74 कोरोना संक्रमितों के संपर्क में आए तीन सौ से ज्यादा लोग, जानिए कैसे होती है कॉन्टेक्ट ट्रेसिंग
नई टिहरी, अनुराग उनियाल। Coronavirus संक्रमितों का आंकड़ा बढ़ने के साथ ही जिले में उनके संपर्क में आए लोगों की संख्या का ग्राफ भी बढ़ रहा है। अभी तक जिले में 74 कोरोना पॉजिटिव लोग मिल चुके हैं, जिनके संपर्क में लगभग साढ़े तीन सौ से ज्यादा लोग आए हैं। कॉन्टेक्ट ट्रेसिंग में सामने आए इन लोगों में कोरोना पॉजिटिव के साथ दूसरे राज्यों से वाहनों में आए लोग, उनके स्वजन और वाहन चालक शामिल हैं। राहत की बात ये है कि इनमें से अभी तक कोई कोरोना पॉजिटिव नहीं आया है।

टिहरी जिले में कोराना पॉजिटिव के संपर्क में आए लोगों की कॉन्टेक्ट ट्रेसिंग में पुलिस की स्थानीय अभिसूचना इकाई एलआइयू भी लगी है। संक्रमित लोगों के संपर्क में आए लोगों की कांटेक्ट ट्रेसिंग का काम बेहद मुश्किल भरा है। अभी तक जिले में साढ़े तीन सौ से ज्यादा ऐसे लोग सामने आए हैं। प्रशासन ऐसे लगभग दो सौ से ज्यादा लोगों के सैंपल  जांच के लिए भेज चुका है। फिलहाल, जिले में 700 से ज्यादा सैंपल की रिपोर्ट अभी आनी है। राहत की बात ये है कि अभी तक कॉन्टेक्ट ट्रेसिंग में जिले में रहने वाला कोई भी व्यक्ति कोरोना पॉजिटिव नहीं पाया गया है। प्रशासन ने एहतियातन जिले में भिलंगना और जाखणीधार ब्लॉक में दो कंटेनमेंट जोन बना दिए हैं।

एसएसपी टिहरी गढ़वाल योगेंद्र सिंह रावत का कहना है कि कोरोना संक्रमित मिलने के बाद सबसे बड़ी चिंता उनके संपर्क में आए लोगों की थी। अभी तक साढ़े तीन सौ से ज्यादा लोगों की लिस्ट बनाई गई है। राहत की बात ये है कि अभी फिलहाल इनमें से कोई संक्रमति नहीं पाया गया है। 

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कैसे होती है कॉन्टेक्ट ट्रेसिंग

प्रशासन प्रवासियों की पूरी डिटेल का डेटा बना रहा है। जब कोई कोरोना पॉजिटिव आता है, तो उसकी ट्रेवल हिस्ट्री, उसके साथ आए यात्री, वाहन चालक की पूरी डिटेल निकाली जाती है। इसमें एसओजी टीम की मदद भी मोबाइल लोकेशन के लिए ली जा रही है। वहीं, एलआइयू की टीम मरीजों के मोबाइल नंबर से भी उनसे मिलने वालों की जानकारी लेती है। उसके बाद मरीज के क्वारंटाइन सेंटर में आने वाले लोगों, उसके स्वजन और वहां पर ड्यूटी दे रहे कर्मचारियों की डिटेल भी निकाली जाती है। 

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