शास्त्रों के अनुसार, शालिग्राम भगवान विष्णु का विग्रह रूप माना जाता है।
घर में कभी भी एक से ज्यादा शालिग्राम स्थापित नहीं करना चाहिए। अगर आपके घर में एक से ज्यादा शालिग्राम है, तो माफी मांगते हुए जल में प्रवाहित कर देना चाहिए।
शालिग्राम कभी भी किसी से उपहार के तौर पर नहीं लेना चाहिए। क्योंकि उपहार के शालिग्राम की पूजा का पूरा फल उस व्यक्ति को चला जाता है।
घर में अगर शालिग्राम स्थापित है, तो मांस-मदिरा, जुआ, आदि चीजों से दूरा बनकर रखना चाहिए।
शालिग्राम की पूजा करते समय अक्षत( साबुत चावल) का कभी इस्तेमाल नहीं करना चाहिए। अगर आप अक्षत अर्पित करना ही चाहते हैं तो पीले रंग के अर्पित करें।
शालिग्राम को हमेशा तुलसी के पौधे के पास रखना चाहिए। इससे भगवान विष्णु के साथ तुलसी देवी प्रसन्न होती है।
शालिग्राम की पूजा करते समय चंदन के साथ-साथ नियमित रूप से तुलसी अर्पित करना चाहिए।