सनातन धर्म में कालाष्टमी का विशेष महत्व होता है। इस दौरान काल भैरव की पूजा करना बेहद शुभ होता है। आइए जानते हैं कि कालाष्टमी पर कौन से काम करने से संकट दूर होते हैं?
पंचांग के अनुसार, इस बार कालाष्टमी 22 नवंबर को मनाई जाएगी। इस दौरान शाम के समय पूजा करना शुभ होता है। इससे जीवन में आने वाली परेशानियां दूर होने लगती हैं।
पंचांग के अनुसार, इस बार कालाष्टमी तिथि की शुरुआत 22 नवंबर को शाम 06 बजकर 07 मिनट पर होगी। वहीं, इसका समापन 23 नवंबर को शाम 07 बजकर 56 मिनट पर होगा।
कालाष्टमी पर भैरव बाबा की पूजा करना बेहद शुभ होता है। इस दौरान शैरव जी को सफेद चंदन लगाना चाहिए। ऐसा करने से जीवन में आने वाले संकट दूर होते हैं।
कालाष्टमी पर काल भैरव की पूजा करते हुए उनकी तस्वीर के सामने घी का दीपक जलाना चाहिए। इससे जीवन में सकारात्मकता आती है और व्यक्ति तरक्की करता है।
कालाष्टमी पर पूजा करते समय पान, सुपारी, लौंग और इलायची अर्पित करनी चाहिए। इसके अलावा, काल भैरव को खीर, हलवा और फल का भोग लगाना चाहिए।
कालाष्टमी के दिन शमी के पौधे में जल चढ़ाना शुभ होता है। ऐसा करने से काल भैरव प्रसन्न होते हैं और साधक पर आशीर्वाद बरसाते हैं।
कालाष्टमी पर काल भैरव की पूजा करने से जीवन में आने वाली परेशानियां दूर होने लगती हैं। इसके साथ ही, बिगड़े हुए काम बनने लगते हैं।
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