सिंगुर में कारखाने का विरोध करना एक पाप था, अब भी उसका एहसास है : मुकुल रॉय
सिंगुर में सभा के दौरान मुकुल रॉय ने मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और तृणमूल कांग्रेस पर हमला बोला। उन्होंने कहा कि नारदा सारधा रोज वैली जैसे घोटाले में फंसे एक भी व्यक्ति को छोड़ा नहीं जाएगा। जांच एजेंसी तेज गति से घोटाले में जुड़े लोगों के खिलाफ जांच कर रही है।
कोलकता, राज्य ब्यूरो। भाजपा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष मुकुल रॉय ने शनिवार को एक बार फिर कहा कि सिंगुर में टाटा कारखाना लगाए जाने का विरोध करना अन्याय और पाप था। उन्होंने कहा कि मैं इसके लिए इससे पहले भी कई बार अफसोस जता चुका हूं और एक बार फिर कह रहा हूं कि मुझे इसका अब भी एहसास है और अब तक मैं इस पाप से मुक्त नहीं हो पाया हूं। शनिवार को हुगली के सिंगुर विधानसभा क्षेत्र में आयोजित एक सभा को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि सिंगुर के साथ बंगाल में भाजपा का झंडा फहराने के बाद ही मैं इस पाप के बोझ से कुछ हल्का हो पाऊंगा।
गौरतलब है कि 2006 में हुगली जिले के सिंगुर में टाटा के लखटकिया नैनो कारखाने के खिलाफ ममता बनर्जी के साथ आंदोलन करने वाले मुख्य नेताओं में मुकुल रॉय भी शामिल थे। ममता तब विपक्ष की नेता थीं और उन्होंने तत्कालीन वाममोर्चा सरकार द्वारा किसानों से टाटा कारखाने के लिए जबरन भूमि अधिग्रहण के खिलाफ आंदोलन चलाया था। ममता के आंदोलन के चलते ही टाटा को निर्माणाधीन नैनो कारखाने को सिंगुर से हटाकर गुजरात में स्थानांतरित करना पड़ा था।
राज्य की जनता तृणमूल कांग्रेस को उखाड़ फेंकने का बना चुकी है मन, सरकार बनने पर लगाए जाएंगे उद्योग
उधर, सिंगुर में सभा के दौरान मुकुल रॉय ने मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और तृणमूल कांग्रेस पर जमकर हमला बोला। उन्होंने कहा कि नारदा, सारधा, रोज वैली जैसे चिटफंड घोटाले में फंसे एक भी व्यक्ति को छोड़ा नहीं जाएगा। जांच एजेंसी काफी तेज गति से इस घोटाले में जुड़े लोगों के खिलाफ जांच कर रही है। उन्होंने कहा कि बंगाल की जनता तृणमूल कांग्रेस को सत्ता से उखाड़ फेंकने का पूरा मन बना चुकी है। अब केवल विधानसभा चुनाव की तारीखों का ही इंतजार है।
जैसे ही बंगाल में भाजपा का झंडा फहरेगा उसके बाद ही सिंगुर में कारखाना लगाने की गतिविधि तेज हो जाएगी। सिंगुर में एक तरफ कृषि तो दूसरी तरफ उद्योग धंधे का विकास किया जाएगा। उन्होंने कहा कि जब से तृणमूल कांग्रेस की सरकार आई है तब से पिछले 10 वर्षो में बंगाल में एक भी उद्योग धंधे नहीं लग पाया है।