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US Shooting: अलबामा के चर्च में गोलीबारी से 3 की मौत; पांच महीने में 212 बार हुई फायरिंग

US Shooting पुलिस के अनुसार गुरुवार शाम 6 बजे के करीब वेस्ताविया हिल्स के बर्मिंघम उपनगर में सेंट स्टीफन एपिस्कोपल चर्च (Saint Stephens Episcopal Church) के अंदर शूटिंग शुरू हुई। पुलिस ने एक संदिग्ध को पकड़ लिया है।

By Mahen KhannaEdited By: Updated: Sat, 18 Jun 2022 06:22 AM (IST)
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अमेरिका के अलबामा के चर्च में गोलीबारी। (फाइल फोटो)
वेस्टाविया हिल्स, एपी। अमेरिका में गोलीबारी का दौर थमने का नाम नहीं ले रहा है। अब यहां के एक चर्च में गोलीबारी की घटना हुई है। इसमें तीन लोगों की मौत हो गई। गोलीबारी की यह घटना गुरुवार शाम अलबामा प्रांत के वेस्ताविया हिल्स इलाके के एक चर्च में हुई। इसमें एक व्यक्ति की घटनास्थल पर ही मौत हो गई और एक अन्य ने अस्पताल में दम तोड़ दिया।

गोलीबारी से घायल एक महिला की शुक्रवार को इलाज के दौरान मौत हो गई। पुलिस कैप्टन शेन वेयर ने बताया कि सेंट स्टीफन एपिस्कोपल चर्च के अंदर गोलीबारी हुई। घटना की सूचना मिलते ही पुलिस अधिकारी मौके पर पहुंच गए और संदिग्ध को हिरासत में ले लिया। गौरतलब है कि अमेरिका में हाल के दिनों में गोलीबारी की कई बड़ी घटनाएं हुई। गत 24 मई को टेक्सास प्रांत के उवाल्डे शहर के एक प्राइमरी स्कूल में एक किशोर ने ताबड़तोड़ गोलियां चलाई थीं। इसमें 19 बच्चों समेत 21 लोगों की मौत हो गई थी।

पांच महीने में 212 बार हुई फायरिंग

अमेरिका में शूटिंग अब एक आम बात सी हो गई है। एक रिपोर्ट के मुताबिक, साल 2022 से अब तक शूटिंग की 212 घटनाएं सामने आ चुकी हैं। वहीं साल 2021 में 693 सामूहिक शूटिंग की घटनाएं हुईं। रिपोर्ट के अनुसार 2020 में 611 जगह गोलीबारी हुई तो 2019 में 417 जगहों पर ऐसी घटनाएं सामने आई हैं।

बीते दिन ही गन कल्चर के खिलाफ कानून पारित

अमेरिकी में आए दिन शूटिंग की घटनाएं होने और 'गन कल्चर' (Gun Culture) पर ब्रेक लगाने के लिए न्यूयार्क राज्य की विधायिका ने कई बिल पास किए हैं। इसके तहत बंदूक खरीदने संबंधी कानूनों को कठोर कर दिया गया है और सेमी-आटोमैटिक असाल्ट राइफल खरीदने की न्यूनतम आयु को बढ़ाकर 21 साल कर दिया गया है। इसके अलावा, आम अमेरिकिओं को भी बुलेटप्रूफ जैकेट खरीदने से भी रोका गया है। इसके अलावा एक अन्य विधेयक भी पास किया गया है जिसके तहत 'रेड फ्लैग ला' का विस्तार किया जाएगा और उन लोगों को इस सूची में शामिल किया जाएगा जिन्हें अत्यधिक खतरे के चलते सुरक्षा की जरूरत है।