'बच्चों पर हमले की कीमत चुकानी होगी', नेतन्याहू की हिजबुल्ला को चेतावनी, इजरायल बोला- एक और युद्ध के करीब
Israel Hezbollah conflict इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने लेबनान के सशस्त्र संगठन हिजबुल्ला को चेतावनी देते हुए कहा है कि उसे गोलन में किए गए हमले की कीमत चुकानी होगी। वहीं विदेश मंत्री ने कहा कि हम एक और युद्ध के करीब हैं। इधर हमले में मरने वालों की संख्या 12 हो गई है। हिजबुल्ला ने इसमें अपनी कोई भूमिका होने से इन्कार किया है।
एपी, तेल अवीव। इजरायल के कब्जे वाले गोलन पहाड़ी इलाके के फुटबाल मैदान में शनिवार को हुए मिसाइल हमले में मरने वालों की संख्या 12 हो गई है। मरने वाले बच्चे और किशोर थे। ये सभी फुटबाल खेलने या फिर खेल देखने के लिए मैदान में आए थे। इजरायल ने इस हमले के लिए लेबनान के सशस्त्र संगठन हिजबुल्ला को जिम्मेदार ठहराया है।
नेतन्याहू ने दी चेतावनी
प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने कहा है कि हिजबुल्ला को इस हमले के लिए भारी कीमत चुकानी होगी, लेकिन हिजबुल्ला ने हमले में अपनी कोई भूमिका होने से इन्कार किया है। अमेरिका ने कहा है कि वह क्षेत्र और तनाव बढ़ने देना नहीं चाहता है।
इजरायली सेना के प्रवक्ता रियर एडमिरल डेनियल हगारी ने कहा है कि सात अक्टूबर, 2023 के बाद इजरायली नागरिकों पर यह सबसे बड़ा हमला है। इस हमले में 20 लोग घायल भी हुए हैं। कहा, 'यह हमला हिजबुल्ला ने किया है, इसे लेकर कोई शक नहीं है। ऐसा कर हिजबुल्ला ने सारी रेडलाइन पार कर दी हैं। उसे इसका जवाब दिया जाएगा।'
हिजबुल्ला ने किया हमले में हाथ होने से इन्कार
जबकि विदेश मंत्री इजरायल काज ने कहा है कि हम एक और युद्ध के करीब हैं। इस बीच हिजबुल्ला के प्रवक्ता मुहम्मद आफिफ ने गोलन पहाड़ी पर हुए हमले में संगठन का हाथ होने से इन्कार किया है। प्रधानमंत्री नेतन्याहू अपना अमेरिका दौरा कुछ घंटे पहले ही खत्म कर इजरायल आ गए हैं और उन्होंने कैबिनेट की सुरक्षा मामलों की समिति के साथ बैठक की है।
हिजबुल्ला के खिलाफ कार्रवाई की मांग
नेतन्याहू सरकार के अति दक्षिणपंथी सदस्यों ने हिजबुल्ला के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की है। विदित हो कि हिजबुल्ला गाजा के हमास से ज्यादा ताकत वाला संगठन है। हमास के साथ करीब 10 महीने से युद्ध कर रही इजरायली सेना को हिजबुल्ला से लड़ने के लिए नए सिरे से तैयारी करनी होगी, वैसे लेबनान से लगने वाली सीमा पर पिछले कई हफ्तों से इजरायल ने तैनाती बढ़ा रखी है।जिस गोलन पहाड़ी इलाके पर हमला हुआ है उस पर इजरायल ने सीरिया के साथ युद्ध 1967 में कब्जा किया था। इसके बाद 1981 में उसे इजरायल से मिला लेने का एलान किया था और वहां के लोगों को अपना नागरिक मान लिया था। वहां पर बड़ी संख्या में यहूदी भी रहते हैं।