ईरान की Mahsa Amini को EU का शीर्ष मानवाधिकार पुरस्कार, पुलिस हिरासत में पिछले साल हुई थी मौत
इस्लामी हिजाब नियमों का पालन न करने के आरोप में पुलिस हिरासत में मृत पाई गई कुर्दिश मूल की ईरानी महिला महसा अमीनी को यूरोपीय यूनियन ने EU के शीर्ष मानवाधिकार पुरस्कार देने की घोषणा की है। बता दें यूरोपीय संघ का यह पुरस्कार सोवियत असंतुष्ट आंद्रेई सखारोव के नाम पर 1988 में रखा गया था। इसे मानवाधिकारों की रक्षा करने वाले व्यक्तियों को दिया जाता है।
By AgencyEdited By: Shashank MishraUpdated: Thu, 19 Oct 2023 09:53 PM (IST)
एपी, स्ट्रासबर्ग। ईरान में पिछले वर्ष आवश्यक इस्लामी हिजाब नियमों का पालन न करने के आरोप में पुलिस हिरासत में मृत पाई गई कुर्दिश मूल की ईरानी महिला महसा अमीनी को गुरुवार को यूरोपीय यूनियन के शीर्ष मानवाधिकार पुरस्कार देने की घोषणा हुई। सम्मान समारोह 13 दिसंबर को होगा। महसा अमीनी की मौत के विरोध में ईरान के साथ विश्वभर में लंबे समय तक प्रदर्शन हुए थे। ईरान में प्रदर्शन से घबराकर सरकार को दमनात्मक रवैया अपनाना पड़ा था।
मानवाधिकारों की रक्षा करने के लिए दिया जा रहा पुरस्कार
यूरोपीय संघ का यह पुरस्कार सोवियत असंतुष्ट आंद्रेई सखारोव के नाम पर 1988 में रखा गया था। इसे मानवाधिकारों और मौलिक स्वतंत्रता की रक्षा करने वाले व्यक्तियों या समूहों को सम्मानित करने के लिए बनाया गया था।
ये भी पढ़ें: गाजा के सुरक्षित क्षेत्रों में भी बमबारी! पूरे गाजा पट्टी में पानी, बिजली और रोटी का संकटनोबेल शांति पुरस्कार विजेता सखारोव का 1989 में निधन हो गया। इस वर्ष के अन्य फाइनलिस्टों में विल्मा नुनेज डी एस्कोर्सिया और रोमन कैथोलिक बिशप रोलैंडो अल्वारेज शमिल थे, जो निकारागुआ में मानवाधिकारों की रक्षा के लिए लड़ाई में दो प्रतीकात्मक व्यक्तित्व हैं। महसा अमीनी की 16 सितंबर, 2022 को मौत हो गई थी, उसे तीन दिन पहले कथित रूप से आवश्यक हेडस्कार्फ पहनने के नियम का उल्लंघन करने आरोप में पुलिस ने हिरासत में लिया था।