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अफगानिस्तान की खिलाड़ी मनीजा तलाश अयोग्य घोषित, पेरिस ओलंपिक में 'अफगान महिलाओं को आजाद करो' लिखना महंगा पड़ा

अफगान बी-गर्ल मनीजा तलाश को पेरिस ओलंपिक 2024 से अयोग्य घोषित कर दिया गया है। दरअसल उन्होंने ब्रेकिंग रूटीन के दौरान अपने स्कार्फ पर स्वतंत्र अफगान महिलाओं का नारा लिखकर प्रदर्शित किया। ओंलपिक खेलों के नियमों का उल्लंघन करने के कारण मनीजा को डिस्कोलीफाई कर दिया है। बता दें कि मनीजा को पेरिस 2024 खेलों में शरणार्थी ओलंपिक टीम की सदस्य हैं।

By Agency Edited By: Nidhi Avinash Updated: Sat, 10 Aug 2024 12:41 PM (IST)
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अफगानिस्तान की पहली महिला ब्रेकडांसर मनीजा तलाश अयोग्य घोषित (Image: Reuters)
पेरिस, आईएएनएस। अफगानिस्तान की रहने वाली Manizha Talash का पेरिस ओलंपिक का सपना टूट गया। शुक्रवार को प्रतियोगिता के प्री-क्वालीफायर में मनीजा तलाश को अयोग्य घोषित कर दिया गया है।

दरअसल, मनीजा ने ब्रेकिंग रूटीन के दौरान अपने स्कार्फ पर 'फ्री अफगान महिलाएं' शब्द को प्रदर्शित किया था, जो पेरिस 2024 ओंलपिक खेलों के नियमों के खिलाफ है। बता दें कि मनीजा को पेरिस 2024 खेलों में शरणार्थी ओलंपिक टीम की सदस्य हैं। 

 'अफगान महिलाओं को आजाद करो' 

स्पेन में रहने वाली मनीजा ने हल्के नीले रंग का स्कार्फ पहना हुआ था जिस पर बड़े सफेद अक्षरों में 'अफगान महिलाओं को आजाद करो' लिखा हुआ था। 21 वर्षीय का विरोध प्रदर्शन का उद्देश्य अपने देश में तालिबान शासन के तहत महिलाओं की दुर्दशा पर वैश्विक ध्यान आकर्षित करना था। उनका मुकाबला नीदरलैंड की इंडिया सार्डजो के खिलाफ था। 

ओलंपिक खेलों का किया उल्लंघन

हालांकि, खेल के मैदान पर राजनीतिक बयानबाजी पर रोक लगाने वाले ओलंपिक नियमों का उल्लंघन करने के कारण ब्रेकिंग की नियामक संस्था, वर्ल्ड डांसस्पोर्ट फेडरेशन ने उन्हें अयोग्य घोषित कर दिया। विश्व डांसस्पोर्ट फेडरेशन ने शुक्रवार को जारी एक बयान में कहा, 'मनीजा को अपने परिधान पर राजनीतिक नारा लिखने के कारण अयोग्य घोषित कर दिया गया है।'

शरणार्थी ओलंपिक टीम की सदस्य थी मनीजा

अगस्त 2021 में तालिबान के सत्ता में लौटने के बाद से, अफगान महिलाओं को गंभीर प्रतिबंधों का सामना करना पड़ा है। लड़कियों के हाई स्कूल बंद कर दिए गए हैं, महिलाओं को पुरुष अभिभावक के बिना यात्रा करने से रोक दिया गया है और पार्कों, जिम और अन्य सार्वजनिक स्थानों तक पहुंच को बहुत सीमित कर दिया गया है।

IOC ने अफगान एथलीटों को शरणार्थी ओलंपिक टीम के तहत भाग लेने की अनुमति देते हुए यह स्पष्ट कर दिया है कि पेरिस खेलों के लिए किसी भी तालिबान अधिकारी को मान्यता नहीं दी गई है। 

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