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संयुक्त राष्ट्र की रिपोर्ट में खुलासा- पूर्वी अफगानिस्तान में दोबारा नियंत्रण पाना चाहता है ISIL-K, अपना रहा ये तरकीबें

इस्लामिक स्टेट ऑफ इराक एंड द लेवेंट-खुरासन को लेकर आई रिपोर्ट तालिबान की चिंताएं बढ़ा सकती है। इस रिपोर्ट में खुलासा हुआ है कि इस्लामिक स्टेट ऑफ इराक एंड द लेवेंट-खुरासन पूर्वी अफगानिस्तान में दोबारा नियंत्रण पाना चाहता है।

By Mohd FaisalEdited By: Updated: Sun, 31 Jul 2022 12:32 PM (IST)
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इस्लामिक स्टेट ऑफ इराक एंड द लेवेंट-खुरासन को लेकर संयुक्त राष्ट्र की रिपोर्ट में खुलासा (फाइल फोटो)
संयुक्त राष्ट्र, एजेंसी। संयुक्त राष्ट्र की रिपोर्ट में इस्लामिक स्टेट ऑफ इराक एंड द लेवेंट-खुरासन को लेकर बड़ा दावा किया गया है। रिपोर्ट के अनुसार, इस्लामिक स्टेट ऑफ इराक एंड द लेवेंट-खुरासन (ISIL-K) अन्य आतंकी समूहों के सदस्यों की भर्ती करके अपनी क्षमताओं को मजबूत करना चाहता है। रिपोर्ट में ये भी दावा किया गया है कि अगर (ISIL-K) पूर्वी अफगानिस्तान में खोए हुए क्षेत्र पर नियंत्रण हासिल करने में सफल रहा तो तालिबान के लिए मुश्किल साबित हो सकता है।

पूर्वी अफगानिस्तान में खोए नियंत्रण पर काबू पाना चाहता है ISIL-K

अंतरराष्ट्रीय शांति और सुरक्षा के लिए आईएसआईएल (दाएश) द्वारा उत्पन्न खतरे पर महासचिव की 15वीं रिपोर्ट में कहा गया है कि आतंकवादी समूह अफगानिस्तान को अपनी महान खिलाफत परियोजना की प्राप्ति के लिए व्यापक क्षेत्र में विस्तार के आधार के रूप में देखता है। रिपोर्ट में कहा गया है कि यह स्पष्ट नहीं है कि आईएसआईएल-के पूर्वी अफगानिस्तान में खोए हुए क्षेत्र पर नियंत्रण हासिल कर सकता है या नहीं। अगर यह सफल होता है तो तालिबान के लिए मुश्किल साबित हो सकता है। एक सदस्य राज्य के अनुसार, आईएसआईएल-के को अफगानिस्तान से वैश्विक खतरे की क्षमता विकसित करने के लिए तैनात किया जाएगा।

तालिबान और अन्य जातीय के लड़ाकों को कर रहा आकर्षित

रिपोर्ट में कहा गया है कि आईएसआईएल-के अन्य आतंकवादी समूहों के सदस्यों की भर्ती के साथ-साथ अप्रभावित तालिबान लड़ाकों और स्थानीय जातीय अल्पसंख्यकों को आकर्षित करके अपनी क्षमताओं को मजबूत करना चाहता है। रिपोर्ट के अनुसार, एक सदस्य राज्य ने पूर्वी तुर्किस्तान इस्लामिक मूवमेंट से आईएसआईएल-के में 50 उइघुर लड़ाकों के शामिल होने की सूचना दी है। कई सदस्य राज्यों ने बताया कि आईएसआईएल-के सेनानियों को उच्च मासिक भुगतान के कारण भर्ती करने में सक्षम था। अफगानिस्तान में सनाउल्लाह गफारी आईएसआईएल-के का नेता बना हुआ है। रिपोर्ट में कहा गया है कि ऐसा प्रतीत होता है कि आईएसआईएल-के के लिए हमलों में कमी आई है, जबकि उनका भौगोलिक प्रसार व्यापक हो गया है।

तजाकिस्तान और उज्बेकिस्तान में राकेट दागने का दावा कर चुका है ISIL-K

अप्रैल और मई माह में ISIL-K ने तजाकिस्तान और उज्बेकिस्तान में राकेट दागने का दावा किया था। हालांकि दोनों देशों ने इस बात से इनकार किया कि राकेट उनके क्षेत्र में गिरे हैं, लेकिन उन्होंने कहा कि इस तरह के हमलों का खतरा बना हुआ है। कहा गया कि इसका उद्देश्य सीमाओं को नियंत्रित करने और क्षेत्र से नए आईएसआईएल-के रंगरूटों को आकर्षित करने के लिए वास्तविक सुरक्षा बलों की अक्षमता को प्रदर्शित करना था।