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Pakistan-TTP Talks: पाकिस्तान आतंकवादी संगठन टीटीपी को रोकने के लिए जवाबी कार्रवाई पर कर रहा काम

पाकिस्तान सरकार प्रतिबंधित आतंकवादी संगठन तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान (TTP) के साथ शांति समझौते के बंद होने के मध्यनजर जवाबी कार्रवाई पर काम कर रही है। रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ ने शांति वार्ता को लेकर सफलता की आशंका व्यक्त की थी।

By Sonu GuptaEdited By: Updated: Fri, 12 Aug 2022 06:50 PM (IST)
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पाकिस्तान सरकार टीटीपी पर जवाबी कार्रवाई पर काम कर रही है। (फाइल फोटो)

इस्लामाबाद, एजेंसी। पाकिस्तान सरकार प्रतिबंधित आतंकवादी संगठन तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान (TTP) के साथ शांति समझौते के बंद होते रास्ते और उससे निपटने के लिए जवाबी कार्रवाई (contingency plan) पर काम कर रही है। आतंकवादी संगठन की अपनी मांग पर अड़े रहने के कारण अफगानिस्तान में होने वाली पाकिस्तानी नेताओं और TTP के बीच वार्ता में रुकावट आ गई है।

रक्षा मंत्री ने वार्ता की सफलता पर जताई आशंका

पाकिस्तान के रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ ने बुधवार को शांति वार्ता को लेकर सफलता की आशंका व्यक्त की थी। अफगानिस्तान के लिए पाकिस्तान के विशेष दूत मुहम्मद सादिक ने माना था कि शांति प्रक्रिया अभी शुरूआती दौर में है। इस मामले में शामिल सूत्रों ने द एक्सप्रेस ट्रिब्यून अखबार को बताया कि सरकार किसी समझौते पर पहुंचने के लिए टीटीपी के साथ कई महिनों से बातचीत कर रही है। हालांकि शांति समझौते की संभावनाएं बेहद कम है।

सरकार किसी भी घटना से निपटने के लिए तैयार

स्वात घाटी में कुछ तालिबान के लड़ाकों को देखा गया था। बातचीत से किसी भी तरह का हल नहीं निकलने के मद्देनजर पाकिस्तानी सरकार आंतकवादियों के खतरे से निपटने के लिए जवाबी कार्रवाई पर काम कर रही है। अखबार ने बताया कि अधिकारियों ने टीटीपी के साथ बातचीत के रास्ते बंद नहीं किए हैं हालांकि सरकार किसी भी घटना से निपटने के लिए तैयार है।

पाकिस्तान इसलिए कर रहा बातचीत

रिपोर्ट में सूत्रों के हवाले से बताया गया है कि पाकिस्तान ने टीटीपी के साथ इस लिए बातचीत करना प्रारंभ किया है क्योंकि वह सैन्य कार्रवाई नहीं करना चाहता है। मालूम हो कि तालिबान पाकिस्तान में कई आतंकी हमलों के लिए जिम्मेदार है। इसके बाद भी अंतरिम अफगान तालिबान सरकार ने पाकिस्तान और टीटीपी के साथ अपनी मतभेदों को बातचीत के जरिए खत्म करने पर जोर दे रही है। सूत्रों के मुताबिक पाकिस्तान अपनी मर्जी से नहीं बल्की मजबूरी में टीटीपी के साथ बातचीत कर रहा है।

इस समय शुरू हुई शांति वार्ता

पाकिस्तान और टीटीपी के बीच पिछले साल अक्टूबर में शांति वार्ता शुरू हुई थी लेकिन अप्रैल में अफगान तालिबान के हस्तक्षेप के बाद शांति वार्ता में गति देखी गई। पाकिस्तान का टीटीपी के साथ बातचीत से एक लंबा सीजफायर कायम रहा। हालांकि दोनों के बीच अभी भी कई मुद्दों पर वार्ता होनी है।

टीटीपी की ओर से बातचीत करने वाले नेताओं में से एक खालिद खोरासानी की अफगानिस्तान में आईईडी ब्लास्ट के दौरान मौत हो गई थी।