Pakistan: प्रदर्शनकारियों पर गोली चलाने को लेकर पाकिस्तानी सेना पर उठे सवाल, MQM नेता की चेतावनी- अत्याचार बंद करो
Pakistan पाकिस्तान में सेना के खिलाफ विरोध लगातार बढ़ता जा रहा है। सेना खिलाफ प्रदर्शन कर रहे लोगों पर गोली चलाने की घटना पर मुत्तहिदा कौमी मूवमेंट (एमक्यूएम) के संस्थापक अल्ताफ हुसैन ने सवाल उठाते हुए सेना पर विरोध प्रदर्शन को बदनाम करने का आरोप लगाया है। उन्होंने कहा कि सेना झूठ बोल रही है कि पहली गोली प्रदर्शनकारियों ने चलाई।
एएनआई, लंदन। पाकिस्तान में सेना के खिलाफ विरोध कर रहे प्रदर्शनकारियों पर हिंसा के प्रयोग को लेकर मुत्तहिदा कौमी मूवमेंट (एमक्यूएम) के संस्थापक अल्ताफ हुसैन ने सेना पर सवाल उठाए हैं। उन्होंने बुधवार को एक वीडियो संदेश जारी कर शांतिपूर्ण प्रदर्शन कर रहे समुदायों की छवि खराब करने की सेना की रणनीति का खुलासा किया।
सोशल मीडिया प्लेटफर्म एक्स पर वोडियो संदेश पोस्ट कर हुसैन ने कहा, 'डीजी आईएसपीआर ने बन्नू घटना के बारे में झूठ बोला। सेना ने खुद ऑपरेशन प्रतिबद्धता स्थिरता की घोषणा की, अब वे इस घोषणा से भाग रहे हैं। अभी भी समय है, आदिवासी इलाकों और बलूचिस्तान से सेना वापस बुलाएं, अत्याचार बंद करो और सबको उनका अधिकार दो, वर्ना आत्मसमर्पण के बाद कोई बातचीत नहीं होगी।'
सेना पर लगाया झूठा दावा करने का आरोप
हुसैन अपने पोस्ट में उस दावे का जिक्र कर रहे थे, जिसमें इंटर-सर्विसेज पब्लिक रिलेशंस निदेशालय (डीजीआईएसपीआर) ने हाल ही में आयोजित एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि बन्नू में हुई गोलीबारी की घटना की शुरूआत प्रदर्शनकारियों की ओर से हुई थी।पाकिस्तान के रक्षा बलों की इन कार्रवाइयों की निंदा करते हुए हुसैन ने कहा, 'उस प्रेस कॉन्फ्रेंस में सेना के जनरल ने वही झूठ दोहराया, जो वे वर्षों से बेचने की कोशिश कर रहे हैं। प्रेस कॉन्फ्रेंस में, उन्होंने बन्नू के शांतिपूर्ण प्रदर्शनकारियों को बदनाम किया, जिन्होंने शांतिपूर्ण रैली आयोजित की। वे कुछ भी गलत नहीं कर रहे थे। वे अपना शांतिपूर्ण विरोध प्रदर्शित करने के लिए सफेद झंडे लिए हुए थे और आपकी सेना के लोगों ने उन पर गोलियां चला दीं।'
सेना की सफाई पर उठाए सवाल
बयान में एमक्यूएम नेता ने कहा, 'आपने अपनी बात को साबित करने के लिए बन्नू रैली में पिस्तौल लिए किसी व्यक्ति की तस्वीर दिखाकर झूठ का इस्तेमाल किया। अगर रैली में पिस्तौल धारक था भी तो यह साबित करने के लिए क्या सबूत है कि वह आईएसआई एजेंट नहीं था? उस समय आपके सुरक्षाकर्मियों के पास बड़ी-बड़ी बंदूकें थीं तो आप क्यों डरे और आपने शांतिपूर्वक मार्च कर रहे लोगों पर गोलियां क्यों चलाईं।'हुसैन ने भारत पर आतंकी हमले आयोजित करने के लिए रक्षा बलों को घेरते हुए कहा, 'सच्चाई अभी भी कायम है कि आपकी सेना, आपके सेना के जनरल और आईएसआई आतंकवाद को बढ़ावा देने के लिए आतंकवादियों को भारत भेज रहे हैं।"