Move to Jagran APP
5/5शेष फ्री लेख

Pakistan: पाक अदालत ने पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान को तीन मामलों में किया बरी, लेकिन उन्हें जेल में ही रहना होगा

पाकिस्तान की एक अदालत ने सोमवार को जेल में बंद पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान और उनकी पार्टी के अन्य शीर्ष नेताओं को 2022 में कथित भ्रष्टाचार मामले में उनकी गिरफ्तारी के बाद एक विरोध प्रदर्शन के दौरान तोड़फोड़ से संबंधित दो मामलों में बरी कर दिया है। 71 वर्षीय पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) पार्टी के संस्थापक पिछले साल अगस्त से जेल में हैं।

By Jagran News Edited By: Siddharth Chaurasiya Updated: Mon, 03 Jun 2024 06:16 PM (IST)
Hero Image
71 वर्षीय पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) पार्टी के संस्थापक पिछले साल अगस्त से जेल में हैं।

एजेंसी, इस्लामाबाद। पाकिस्तान की एक अदालत ने सोमवार को जेल में बंद पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान और उनकी पार्टी के अन्य शीर्ष नेताओं को 2022 में कथित भ्रष्टाचार मामले में उनकी गिरफ्तारी के बाद एक विरोध प्रदर्शन के दौरान तोड़फोड़ से संबंधित दो मामलों में बरी कर दिया है। 71 वर्षीय पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) पार्टी के संस्थापक पिछले साल अगस्त से जेल में हैं।

अप्रैल 2022 में उनके पद से हटाए जाने के बाद से उन पर लगाए गए लगभग 200 मामलों में से कुछ में दोषी ठहराए जाने के बाद से वह जेल में सजा काट रहे हैं। एक्सप्रेस ट्रिब्यून अखबार की रिपोर्ट के अनुसार, इस्लामाबाद की जिला और सत्र अदालत ने 'हकीकी आजादी' मार्च के दौरान तोड़फोड़ के दो मामलों में खान, पूर्व विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी, पूर्व संचार मंत्री मुराद सईद और अन्य पीटीआई नेताओं को बरी कर दिया।

इमरान खान सरकारी गोपनीयता मामले में बरी

पाकिस्तान के एक हाईकोर्ट ने सोमवार को इमरान खान को सरकारी राज लीक करने के आरोप से बरी कर दिया। हालांकि, उनके वकील और उनकी पार्टी की तरफ से कहा गया है कि खान को एक अन्य मामले में दोषी ठहराए जाने के कारण अभी जेल में रहना होगा।

इमरान खान को 2022 में वाशिंगटन में पाकिस्तान के राजदूत द्वारा इस्लामाबाद को भेजे गए गुप्त राजनयिक केबल को सार्वजनिक करने के आरोप में निचली अदालत ने 10 साल जेल की सजा सुनाई थी। 2018-2022 तक खान के कार्यकाल के दौरान उनके विदेश मंत्री रहे शाह महमूद कुरैशी को भी आरोपों से बरी कर दिया गया।

खान की पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ पार्टी के कानूनी मामलों के प्रवक्ता नईम पंजुथा ने 'एक्स' पर एक पोस्ट में कहा, "भगवान का शुक्र है कि सजा पलट दी गई। हालांकि, बरी होने के बावजूद खान जेल में ही रहेंगे, क्योंकि उन्हें अपनी तीसरी पत्नी बुशरा खान से इस्लामी परंपराओं का उल्लंघन करते हुए शादी करने से संबंधित एक अन्य मामले में भी दोषी ठहराया गया है।"

क्या है 'हकीकी आजादी' मामला?

मई 2022 में पूर्व क्रिकेटर से राजनेता बने खान ने अविश्वास प्रस्ताव के बाद प्रधानमंत्री के रूप में उन्हें हटाए जाने के बाद सत्ता संभालने वाली शहबाज शरीफ की गठबंधन सरकार को गिराने के लिए लाहौर से इस्लामाबाद की ओर मार्च शुरू किया था। यह रैली पीटीआई के 'वास्तविक स्वतंत्रता' प्राप्त करने और राष्ट्र को 'अमेरिका समर्थित' गठबंधन सरकार की 'गुलामी' से मुक्त करने के संघर्ष का हिस्सा थी।

खान ने गठबंधन सरकार पर 'अमेरिका समर्थित साजिश' के जरिए सत्ता में आने का आरोप लगाया था। उस समय इस्लामाबाद पुलिस ने संघीय राजधानी में आगजनी और तोड़फोड़ के आरोपों को लेकर खान, कुरैशी और पार्टी के अन्य नेताओं सहित 150 लोगों के खिलाफ अलग-अलग मामले दर्ज किए थे।

इस महीने की शुरुआत में इस्लामाबाद के एक न्यायिक मजिस्ट्रेट ने भी खान को 2022 में उनकी पार्टी के दो लंबे मार्च के दौरान तोड़फोड़ के दो मामलों में बरी कर दिया था। न्यायिक मजिस्ट्रेट शाइस्ता कुंडी ने इस्लामाबाद के लोही भैर और सहला पुलिस स्टेशनों में दर्ज मामलों और अदालत में उनकी पेशी से संबंधित एक मामले में पूर्व प्रधानमंत्री द्वारा दायर याचिकाओं पर सुनवाई की।