Shahed-136 Drone: यूक्रेन से जंग में रूस का साथ दे रहा है ईरान! कीव के ट्वीट से हुआ बड़ा खुलासा
रूस और ईरान के बीच पक रही खिचड़ी अब सामने आने लगी है। यूक्रेन के रक्षा मंत्रालय के एक ट्वीट से पता चला है कि रूस यूक्रेन में हमले के लिए ईरानी ड्रोन का इस्तेमाल कर रहा है।
By Kamal VermaEdited By: Updated: Mon, 17 Oct 2022 03:49 PM (IST)
नई दिल्ली (आनलाइन डेस्क)। सात माह से अधिक समय से जारी रूस और यूक्रेन की जंग के बीच अब एक नया खुलासा हुआ है। ये खुलासा यूक्रेन के रक्षा मंत्रालय के एक ट्वीट से हुआ है। इसमें कहा गगया है कि बीते 15 घंटों में यूक्रेन आर्मी ने रूस के 37 इरानी Shahed-136 ड्रोन और 3 क्रूज मिसाइलों को मार गिराया है। यहां पर यूक्रेन ने इरानी ड्रोन का जिक्र कर एक सनसनी फैलाने का काम किया है। बता दें कि इस ड्रोन का उत्पादन ईरान की Shahed Aviation Industry करती है। ये ट्वीट न सिर्फ ईरान और रूस के बीच जारी जुगलबंदी की कहानी बयां कर रहा है वहीं ये भी संकेत दे रहा है कि ईरान यूक्रेन के खिलाफ जारी जंग में रूस का सहयोग दे रहा है। ये कहीं न कहीं ईरान की अमेरिका विरोधी नीति की तरफ भी इशारा कर रहा है।
ईरानी आर्मी भी करती है इसका इस्तेमाल
यूक्रेन के रक्षा मंत्रालय की तरफ से किए गए इस ट्वीट से ये भी सवाल उठ रहा है कि क्या वास्तव में रूस ईरानी ड्रोन का इस्तेमाल कर रहा है। हालांकि रूस ने इस बारे में कोई सफाई नहीं दी है। यदि ये बात सही साबित होती है तो माना जाएगा कि कहीं न कहीं रूस और ईरान के बीच कुछ खिचड़ी पक रही है। यूक्रेन ने इस ट्वीट में रूसी सेना को आतंकी कहा है। खास बात ये भी है कि इन ड्रोन का इस्तेमाल ईरानी आर्मी के अलावा हूथी विद्रोही भी करते हैं। इस एक ड्रोन की कीमत 20 हजार डालर है। 11 फीट लंबे और 200 किग्रा वजनी ये ड्रोन करीब 40 किग्रा वारहेड लेकर जा सकता है। जिस ड्रोन का जिक्र यूक्रेन ने अपने ट्वीट में किया है वो करीब 115 मीटर प्रतिघंटे की रफ्तार से चल सकता है। इसको किसी राकेट की तरह ही लान्चर से दागा जाता है।ईरान-रूस के बीच जुगलबंदी
आपको बता दें कि ईरान और रूस के बीच के गठबंधन की अटकलें कुछ माह पूर्व उस वक्त लगनी शुरू हुई थीं जब तुर्की की मध्यस्थता में दोनों देशों के बीच बातचीत हुई थी। अमेरिका विरोधी ईरान का रूस के साथ आना और रूस को ईरान द्वारा ड्रोन की सप्लाई करना कई सवालों को जन्म देता है। कुछ समय पहले ही अमेरिकी रिपोर्ट में इस बात का खुलासा किया गया था कि रूस को ईरान ने ड्रोन की सप्लाई की है। हालांकि अब तक न तो रूस ने और न ही ईरान ने इसकी हामी भरी है। कुछ रिपोर्ट में कहा गया है कि रूस ने इस ड्रोन का इस्तेमाल ओडेसा, खार्किव में भी किया था।भारतीय समुद्री क्षेत्र में रूस की किलो क्लास और जर्मनी की टाइप 209 सबमरीन का आज भी कम नहीं हुआ रुतबाक्या इस सप्ताह FATF की ग्रे लिस्ट से बाहर आ जाएगा पाकिस्तान! पेरिस में 20-21 अक्टूबर को होगी खास बैठक
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