'बुलंद भारत का हमारा बजाज', वो मशहूर विज्ञापन जो बन गया Bajaj Scooter की पहचान
बजाज का वो विज्ञापन अभी भी आपको याद ही होगा। हमारा कल...हमारा आज बुलंद भारत की बुलंद तस्वीर- हमारा बजाज। बजाज ऑटो ने 1989 में हमारा बजाज नाम से अपने स्कूटर की जो तगड़ी मार्केटिंग शुरू की वह आज भी एक मिसाल है।
नई दिल्ली, ऑटो डेस्क। बजाज स्कूटर का नाम तो आपने सुना ही होगा। भला, इसे कोई कैसे भूल सकता है। बजाज के विज्ञापन से हजारों लोगों की यादें जुड़ी हैं। जब टीवी पर ये चलता था तो देखने के लिए लोग इकट्ठा हो जाते थे। वाकई कुछ तो खास था बजाज का वो विज्ञापन।
हमारा बजाज
हमारा कल...हमारा आज, बुलंद भारत की बुलंद तस्वीर...हमारा बजाज।' दूरदर्शन पर आने वाले इस विज्ञापन ने अपनी एक अलग पहचान बना ली थी। बजाज का मतलब ही स्कूटर होता था और स्कूटर की याद ये जिंगल दिलाता था। शायद ही किसी दूसरे विज्ञापन ने लोगों के जुबान पर राज किया होगा इतने समय तक। आपको बता दें, पहली बार ये विज्ञापन बजाज ऑटो ने 1989 में 'हमारा बजाज' नाम से शुरु किया था।
उस समय घर में बजाज का स्कूटर होना मतलब एक तरह से बहुत बड़ी बात थी। यह लोगों की हैसियत को बढ़ा देता था।
2006 में प्रोडक्शन हुआ बंद
अब के समय में आपको ये स्कूटर देखने को नहीं मिलेगा, क्योंकि वाहन निर्माता कंपनी ने इस स्कूटर के प्रोडक्शन को 2006 में ही बंद कर दिया था। 70 और 80 के दशक में जन्मा शायद ही कोई ऐसा व्यक्ति होगा, जो इस स्कूटर को अपने विशलिस्ट में न रखता हो।
किसने बनाया था ये विज्ञापन
अब विज्ञापन से ये कहानी शुरू हुई थी तो आपको बता देते हैं इसको बनाया किसने था। इस स्कूटर को बनाया विज्ञापन निर्माता एवं रंगमंच की दुनिया की मशहूर शख्सियत अलक पदमसी ने था। बजाज चेतक, बजाज ऑटो का सबसे पॉपुलर स्कूटर था। वाहन निर्माता कंपनी ने बाद में बजाज सुपर और बजाज के नाम से भी मॉडल पेश किए थे। लेकिन, बजाज की पहचान चेतक स्कूटर से ही होती थी।
बजाज का मुकाबला नहीं
भारतीय बाजार में इस स्कूटर का कोई जवाब ही नहीं था। ये दिखने में भी काफी अलग था। बजाज का मुकाबला करने वाली कोई दूसरी कंपनी थी ही नहीं। तब बाजार में लैंब्रेटा और विजय सुपर इसके मुकाबले में थे। लेकिन ये कहीं ठहरे ही नहीं। उस समय बजाज के स्कूटर को खरीदने के लिए लोग लाइन लगाते थे। काफी इंतजार करते थे।