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Indian Economy: 23.9 बिलियन डॉलर के रिकॉर्ड स्तर पर चालू खाते का घाटा, जानिए क्या है इसकी वजह

Indian Economy रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) ने कहा है कि इस वित्त वर्ष की पहली तिमाही में चालू खाता घाटा बढ़कर 23.9 बिलियन डॉलर पर पहुंच गया है। यह पिछले वित्त वर्ष की आखिरी तिमाही में 13.4 बिलियन डॉलर था।

By Abhinav ShalyaEdited By: Updated: Thu, 29 Sep 2022 07:43 PM (IST)
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Current account deficit widens to 2.8 pc of GDP in Q1 of FY23: RBI
नई दिल्ली, बिजनेस डेस्क। देश में आयात- निर्यात के बीच संतुलन दिखाने वाला मुख्य सूचकांक चालू खाता घाटा (Current Account Deficit) इस वित्त वर्ष की पहली तिमाही में बढ़कर जीडीपी का 2.8 प्रतिशत या फिर 23.9 बिलियन डॉलर (1.95 लाख करोड़ रुपये के करीब) हो गया है। चालू खाता बढ़ने के पीछे की वजह उच्च व्यापारिक घाटे को माना जा रहा है।

रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) की ओर से जारी किए गए डाटा के अनुसार, वित्त वर्ष 2022-23 की पहली तिमाही (अप्रैल- जून) में चालू खाता घाटा बढ़कर रिकॉर्ड 23.9 बिलियन डॉलर (जीडीपी का 2.8 प्रतिशत) पर पहुंच गया है। इससे पहले वाली तिमाही (जनवरी- मार्च 2022) में यह 13.4 बिलियन डॉलर (जीडीपी का 1.5 प्रतिशत) था। पिछले साल समान अवधि में यह 6.6 बिलियन डॉलर (जीडीपी का 0.9 प्रतिशत) था।

बढ़ रहा देश का व्यापारिक घाटा

रूस और यूक्रेन युद्ध के बाद दुनिया में कच्चे तेल की कीमत में तेजी से इजाफा हुआ है। इसके साथ भारत अपनी जरूरतों का 80 प्रतिशत से अधिक कच्चा तेल विदेशों से आयात करता है। पिछले कुछ महीनों में डॉलर के मुकाबले रुपये की कीमत में कमी देखने को मिली है, जिस कारण भारत के व्यापारिक घाटे में इजाफा देखने को मिला है।

आरबीआई का कहना है कि इस वित्त वर्ष की पहली तिमाही में व्यापारिक घाटा बढ़कर 68.6 बिलियन डॉलर हो गया है जो कि पिछले वित्त वर्ष की पहली तिमाही में 54.5 बिलियन डॉलर पर था।

अगस्त में व्यापारिक घाटा 45 फीसद बढ़ा

इस महीने की शुरूआत में सरकार की ओर से जारी आंकड़ों में बताया गया था कि आयात और निर्यात होने वाली वस्तुओं की कीमत में अंतर अधिक होने के कारण अगस्त में भारत का व्यापारिक घाटा बढ़कर 28.68 बिलियन डॉलर पर पहुंच गया है। यह पिछले साल के मुकाबले 45.09 फीसदी अधिक है।

(एजेंसी इनपुट के साथ)

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