RBI MPC: ब्याज दरों पर 7 जून को आएगा फैसला, क्या इस बार राहत देने के मूड में है आरबीआई?
रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास की अध्यक्षता वाली MPC की बैठक 5 से 7 जून तक होगी। आरबीआई अपने फैसले का एलान 7 जून (शुक्रवार) करेगा। देश में पिछले साल फरवरी से बेंचमार्क ब्याज दरों में कोई बदलाव नहीं हुआ है। यह 6.5 फीसदी के उच्च स्तर पर बरकरार है। एक्सपर्ट का मानना है कि इस बार भी आरबीआई ब्याज दरों में कोई बदलाव नहीं करेगा।
बिजनेस डेस्क, नई दिल्ली। इस बार रिजर्व बैंक (RBI) की आगामी मौद्रिक नीति समीक्षा बैठक लोकसभा चुनाव के ठीक बाद होगी। लेकिन, इसमें रेट कट जैसी राहत मिलने की कोई खास उम्मीद नहीं है। एक्सपर्ट का कहना है कि मुद्रास्फीति की चुनौती बनी हुई है, ऐसे में मौद्रिक नीति समिति (MPC) बेंचमार्क ब्याज दर में कटौती से परहेज करेगी।
देश में पिछले साल फरवरी से बेंचमार्क ब्याज दरों में कोई बदलाव नहीं हुआ है। यह 6.5 फीसदी के उच्च स्तर पर बरकरार है। हालांकि, आर्थिक विकास में तेजी के बीच रिजर्व बैंक दूसरी चीजों को अभी नजरअंदाज कर सकता है।
कब होगी MPC की मीटिंग?
रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास की अध्यक्षता वाली MPC की बैठक 5 से 7 जून तक होगी। आरबीआई अपने फैसले का एलान 7 जून (शुक्रवार) करेगा। वहीं, लोकसभा चुनाव के नतीजे इससे तीन दिन पहले यानी 4 जून को घोषित किए जाएंगे।
केंद्रीय बैंक ने पिछली बार फरवरी 2023 में रेपो दर को बढ़ाकर 6.5 प्रतिशत किया था। तब से पिछली छह द्विमासिक नीतियों में दर को उसी स्तर पर बनाए रखा है। अगर 7 जून को फिर से ब्याज दर में कोई बदलाव नहीं होता। यह लगातार आठवां मौका होगा, जब RBI बेंचमार्क रेपो दर पर यथास्थिति बनाए रखेगा।
क्या है एक्सपर्ट की राय
बैंक ऑफ बड़ौदा के मुख्य अर्थशास्त्री मदन सबनवीस ने कहा कि पिछली MPC मीटिंग के बाद से आर्थिक हालात में कोई बड़ा बदलाव नहीं हुआ है। पीएमआई और जीएसटी कलेक्शन जैसे इंडिकेटर दिखाते हैं कि विकास सही दिशा में है।
उन्होंने आगे कहा मुद्रास्फीति पर चिंता बनी हुई है, भले ही पिछले आंकड़े 5 प्रतिशत से कम आए हों। भीषण गर्मी ने विशेष रूप से सब्जियों की कीमतों को प्रभावित किया है। वहीं, मौसम विभाग ने सामान्य मानसून का अनुमान जताया है। इन सबसे यही लगता है कि आरबीआई ब्याज दरों में कटौती नहीं करेगा।
एसोचैम के अध्यक्ष संजय नायर का भी कहना है कि केंद्रीय बैंक से आगामी MPC बैठक में रेपो रेट में कोई बदलाव नहीं करेगा, क्योंकि रिटेल इंफ्लेशन 4 प्रतिशत के लक्ष्य से ऊपर बनी हुई है। उन्होंने कहा, 'हालांकि मुद्रास्फीति में कमी आ रही है, लेकिन लेकिन सितंबर में मानसून सत्र चीजें पूरी तरह साफ हो पाएंगी।'
(पीटीआई से इनपुट के साथ)
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