Gujarat Assembly Election 2022: गुजरात के मारवाड़ी मतदाताओं को साधेंगे राजस्थान के नेता
Gujarat Assembly Election 2022 राजस्थान से सटे गुजरात के नौ जिलों की 43 विधानसभा सीटों पर चुनाव अभियान का जिम्मा एक दर्जन नेताओं को सौंपा गया है। राजस्थान भाजपा के प्रदेश महामंत्री सुशील कटारा और विधायक नारायण सिंह देवल को प्रभारी बनाया गया है।
By Jagran NewsEdited By: Sachin Kumar MishraUpdated: Wed, 12 Oct 2022 05:51 PM (IST)
जयपुर, नरेन्द्र शर्मा। Gujarat Assembly Election 2022: गुजरात विधानसभा चुनाव में मारवाड़ी मतदाताओं को लुभाने में भाजपा (BJP) और कांग्रेस (Congress) दोनों पार्टियां जुट गई हैं। भाजपा और कांग्रेस ने गुजरात (Gujarat) के नौ जिलों में चुनाव अभियान कमान राजस्थान (Rajasthan) के नेताओं को सौंपी है। ये नौ जिले राजस्थान सीमा से सटे हुए हैं। कांग्रेस ने अशोक गहलोत (Ashok Gehlot) सरकार के आधा दर्जन मंत्रियों, राजनीतिक नियुक्ति प्राप्त नेताओं को चुनाव अभियान का जिम्मा सौंपा है। वहीं, भाजपा ने प्रदेश भाजपा के वरिष्ठ नेताओं व विधायकों को मारवाड़ी मतदाताओं को साधने की जिम्मेदारी दी है। ऐसा माना जाता है कि गुजरात में 18 से 20 प्रतिशत मतदाता या तो राजस्थान के मूल निवासी हैं या फिर राजस्थान से उनका किसी न किसी तरह से जुड़ाव है। ऐसे में इन मतदाताओं को साधने के लिए राजस्थान के नेताओं को जिम्मेदारी सौंपी गई है।
भाजपा की यह रणनीति
राजस्थान से सटे गुजरात के नौ जिलों अहमदाबाद, गांधी नगर, मोडासा, भुज, साबरकांठा, बनासकांठा, मेहसाना, कच्छ और पाटन की 43 विधानसभा सीटों पर चुनाव अभियान का जिम्मा एक दर्जन नेताओं को सौंपा गया है। राजस्थान भाजपा के प्रदेश महामंत्री सुशील कटारा और विधायक नारायण सिंह देवल को प्रभारी बनाया गया है। इनके अधीन प्रत्येक विधानसभा क्षेत्र में दो-दो व प्रत्येक जिले में दो से तीन नेताओं को प्रभारी बनाकर तैनात किया गया है। प्रभारी बनाए गए नेताओं के साथ जातिगत व स्थानीय समीकरणों के आधार पर कार्यकर्ताओं की टीम लगाई गई है। यह टीम लगातार मतदाताओं के संपर्क में रहकर मतदान करवाने तक सक्रिय रहेगी। देवल और कटारा का कहना है कि विधानसभा क्षेत्रवार हमने प्रवासी संयोजक लगाए हैं। गुजरात में रह रहे मारवाड़ियों का मतदान भाजपा के पक्ष में ज्यादा से ज्यादा करवाना ही प्रमुख लक्ष्य है। गुजरात में राजस्थान भाजपा के चुनाव कार्यालय का उद्धाटन 14 अक्टूबर को प्रदेशाध्यक्ष सतीश पूनिया करेंगे।
कांग्रेस में असमंजस के हालात
राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत गुजरात में कांग्रेस के चुनाव प्रभारी हैं। राजस्थान के पूर्व मंत्री रघु शर्मा गुजरात के संगठन प्रभारी हैं। दोनों ने राजस्थान के मंत्रियों अशोक चांदना, प्रमोद जैन, रामलाल जाट, उदयपाल आंजना, शकुंतला रावत व विधायक जदीश चंद, करण सिंह, पानाचंद मेघवाल, अमीन कागजी, हाकम अली, सुरेश मोदी, अशोक बैरवा सहित दो दर्जन नेताओं को चुनाव को चुनाव संपन्न होने तक गुजरात में रहने के लिए कहा था, लेकिन प्रदेश में सीएम पद को लेकर चल रहे असमंजस के कारण ये नेता पिछले एक महीने से अपने प्रभार वाले क्षेत्रों में गए ही नहीं।गुजरात के निकट राजस्थान के यह जिले हैं
गुजरात के निकट राजस्थान के सात जिले हैं। जिनमें उदयपुर, डूंगरपुर, बांसवाड़ा, सिरोही, जालौर, चित्तौड़गढ़ व पाली शामिल हैं। इन जिलों के लोग बड़ी संख्या मे गुजरात के विभिन्न जिलों में व्यवसाय अथवा नौकरी के सिलसिले में गुजरात जाकर बस गए हैं। राजस्थान के सीमावर्ती जिलों से होने और गुजराती प्रभाव क्षेत्र में होने के चलते चुनाव काे लेकर इन जिलों के नेताओं को जिम्मेदारी दी गई है।
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