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खालिस्तानी आतंकी पन्नू की हत्या में भारत नहीं है शामिल, अमेरिकी अदालत में सामने आया ये सच

अमेरिका में संघीय अभियोजकों ने आरोप लगाया है कि अमेरिका में एक सिख अलगाववादी गुरपतवंत सिंह पन्नू की हत्या की कथित साजिश के आरोपित भारतीय नागरिक ने इस आश्वासन के बाद साजिश में शामिल होना स्वीकार किया है कि गुजरात में उसके खिलाफ चल रहा एक आपराधिक मामला खारिज कर दिया जाएगा। अमेरिका की एक अदालत में बुधवार को पेश किए गए।

By Jagran NewsEdited By: Paras PandeyUpdated: Fri, 01 Dec 2023 04:54 AM (IST)
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पन्नू की हत्या के लिए निखिल गुप्ता ने हत्यारे को एक लाख अमेरिकी डालर देने की बात कर ली थी।

न्यूयार्क, प्रेट्र। अमेरिका में संघीय अभियोजकों ने आरोप लगाया है कि अमेरिका में एक सिख अलगाववादी गुरपतवंत सिंह पन्नू की हत्या की कथित साजिश के आरोपित भारतीय नागरिक ने इस आश्वासन के बाद साजिश में शामिल होना स्वीकार किया है कि गुजरात में उसके खिलाफ चल रहा एक आपराधिक मामला खारिज कर दिया जाएगा।

अमेरिका की एक अदालत में बुधवार को पेश किए गए अभियोजन पक्ष के आरोपपत्र के अनुसार निखिल गुप्ता (52) पर न्यूयार्क शहर में एक अमेरिकी-कनाडाई नागरिक पन्नू की हत्या की नाकाम साजिश में संलिप्त होने का आरोप है। पिछले दिनों ब्रिटिश अखबार फाइनेंशियल टाइम्स ने अज्ञात सूत्रों के हवाले से रिपोर्ट प्रकाशित की थी कि अमेरिकी अधिकारियों ने प्रतिबंधि संगठन सिख फार जस्टिस के पन्नू की हत्या की साजिश को नाकाम कर दिया था और इस साजिश में भारत सरकार के शामिल होने की आशंकाओं को लेकर उसे चेतावनी दी थी। 

अभियोजन पक्ष ने चार्जशीट में बताया कि निखिल किस तरह गुजरात में उसके खिलाफ दर्ज एक आपराधिक मामले को खारिज किए जाने के आश्वासन के बाद पन्नू की हत्या की साजिश के लिए सहमत हो गया। निखिल ने हत्या के लिए सुपारी भी दे दी थी। अभियोजकों ने दावा किया है कि इसमें एक भारतीय सरकारी अधिकारी (सीसी-1) शामिल है उसने अमेरिकी जमीन पर हत्या के लिए भारत से साजिश रचने का निर्देश दिया।

अभियोजन पक्ष के आरोपपत्र में कहा गया है कि मई 2023 में या इसके आसपास सीसी-1 और निखिल के बीच टेलीफोन और अन्य इलेक्ट्रानिक संचार माध्यमों से बातचीत शुरू हुई। इसमें सीसी-1 ने गुप्ता से भारत में उसके खिलाफ दर्ज एक आपराधिक मामले को खारिज कराने की एवज में एक हत्या कराने की बात कही। इस पर निखिल हत्या की साजिश रचने के लिए तैयार हो गया।

इसके बाद गुप्ता ने साजिश को अमली जामा पहनाने के लिए नई दिल्ली में व्यक्तिगत रूप से भी सीसी-1 से मुलाकात की। अभियोग में कहा गया है कि 23 मई, 2023 को या उसके आसपास, सीसी-1 ने निखिल आश्वासन दिया कि आपके गुजरात मामले बात हो गई है अब आगे कभी आपको कोई परेशान नहीं करेगा। 

आरोपपत्र में कहा गया है कि पन्नू की हत्या के लिए निखिल गुप्ता ने हत्यारे को एक लाख अमेरिकी डालर देने की बात स्वीकार भी कर ली है। इसमें कहा गया कि निखिल गुप्ता अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मादक पदार्थों की तस्करी करता है और उसे हत्या की कथित साजिश में शामिल रहने के आरोप में जून 2023 में अमेरिका के अनुरोध पर चेक गणराज्य में गिरफ्तार किया गया था। अभी उसका अमेरिका में प्रत्यर्पण नहीं हुआ है।रायटर के अनुसार व्हाइट हाउस में राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद के प्रवक्ता जान किर्बी ने गुरुवार को कहा कि अमेरिकी धरती पर सिख अलगाववादी पन्नू को मारने की साजिश से जुड़े एक भारतीय अधिकारी के खिलाफ आरोप गंभीर हैं। अमेरिका इन्हें गंभीरता से ले रहा है।

ट्रूडो ने दोहराया कि कनाडा के आरोपों को भी गंभीरता से ले भारत ओटावा

कनाडाई प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने कहा कि अमेरिकी धरती पर एक सिख अलगाववादी पन्नू की हत्या के असफल प्रयास में एक भारतीय नागरिक का नाम सामने आना इस बात को रेखांकित करता है कि कनाडा हरदीप सिंह निज्जर के मामले में जो आरोप लगा रहा है, उन्हें भारत को गंभीरता से लेना चाहिए। ट्रूडो ने कहा कि सरे में 18 जून को निज्जर की हत्या में भारत सरकार की संलिप्तता के आरोपों पर कनाडाई अधिकारी अगस्त से अपने अमेरिकी समकक्षों के साथ संपर्क में हैं।

निज्जर की हत्या में भारतीय एजेंट की कथित संलिप्तता के ट्रूडो के आरोपों के बाद से भारत और कनाडा के बीच तनाव बढ़ गया है। भारत कनाडा के आरोपों को बेतुका व राजनीति से प्रेरित बता चुका है। भारत ने 2020 में निज्जर को आतंकवादी घोषित किया था।

ट्रूडो ने कहा कि भारत सरकार को यह सुनिश्चित करने के लिए हमारे साथ काम करने की जरूरत है कि हम मामले की तह तक पहुंच रहे हैं। यह कोई ऐसी चीज नहीं है जिसे हल्के में लिया जाए। इस बीच, कनाडाई विदेश मंत्री मेलानी जोली ने कहा कि वह अमेरिकी आपराधिक मामले पर टिप्पणी नहीं करेंगी, लेकिन उन्होंने कहा कि उन्हें भारत से बहुत उम्मीद है।

उन्होंने कहा कि हम भारत की ओर से अधिक सहयोग और भागीदारी की उम्मीद करते हैं। उधर, भारतीय विदेश मंत्रालय ने कनाडा के आरोपों पर कहा कि कनाडा ने लगातार भारत विरोधी चरमपंथियों को आश्रय दिया है। यह बड़ा इश्यू है। हम उम्मीद करते हैं कि कनाडा सरकार राजनयिक संबंधों पर वियना समझौते का दायित्व पूरा करेगी।