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AIGF ने Gaming Industry को लेकर सैलिबिट्रीज और Influencer को दी हिदायत, कहा न करें ये काम वरना हो सकता है नुकसान

Gaming Industry में सट्टेबाजी और जुआ कंपनियों का भी प्रवेश हो गया है। इन कंपनियों को कई सैलिबिट्रीज और इंफल्यूएन्सर बढ़ावा देते हैं। ऐसे में एआईजीएफ ने कहा कि सैलिबिट्रीज और इंफल्यूएन्सर को इन कंपनियों को बढ़ावा नहीं देना चाहिए। अगर वह बढ़ावा नहीं देते हैं तो वास्तविक प्लेटफार्मों को अवैध संस्थाओं से अलग करने में मदद मिल जाएगी। पढ़ें पूरी खबर..

By Agency Edited By: Priyanka Kumari Updated: Thu, 07 Mar 2024 10:18 AM (IST)
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AIGF ने Gaming Industry को लेकर सैलिबिट्रीज और Influencer को दी हिदायत

पीटीआई, नई दिल्ली। गेमिंग इंडस्ट्री (Gaming Industry) को लेकर एआईजीएफ (AIGF) ने उपभोक्ता निगरानी संस्था (CCPA) को सलाह दी है। एआईजीएफ ने कहा कि मशहूर हस्तियों और इंफल्यूएन्सर लोगों को सट्टेबाजी और जुआ कंपनियों को बढ़ावा नहीं देना चाहिए।

इस तरह से बढ़ावा देने से उन्हें परहेज करना चाहिए। अगर वह ऐसा करते हैं तो वास्तविक प्लेटफार्मों को अवैध संस्थाओं से अलग करने में मदद मिलेगा।  

केंद्रीय उपभोक्ता संरक्षण प्राधिकरण (सीसीपीए) ने सभी हितधारकों को चेतावनी दी कि सट्टेबाजी और जुए सहित अवैध गतिविधियों के समर्थन के लिए कड़ी कार्रवाई की जाएगी।

पीटीआई एजेंसी के अनुसार एआईजीएफ के सीईओ रोलैंड लैंडर्स ने एक बयान में कहा कि

हम देश-विरोधी अवैध जुआ वेबसाइटों के खिलाफ ऐसा निर्णायक कदम उठाने के लिए सरकार के आभारी हैं। यह सरोगेट न्यूज और खेल वेबसाइटों की आड़ में भारत में विज्ञापन दे रहे हैं। इससे वैध भारतीय ऑनलाइन कौशल गेमिंग ऑपरेटरों को अलग करने में मदद मिलेगी। यह गेमिंग इंडस्ट्री को सुरक्षा देगी। अवैध जुआ साइट मनोरंजन का एक रूप है जो व्यापक उपभोक्ता हानि और समस्या देता है।

सीसीपीए ने क्यों दी ये सलाह

सीसीपीए की सलाह सट्टेबाजी और जुए जैसी अवैध गतिविधियों को बढ़ावा देने वाले विज्ञापनों की बढ़ती घटनाओं के जवाब में आई है। उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम, 2019 के अनुसार सलाह में विभिन्न कानूनों के तहत निषिद्ध गैरकानूनी गतिविधियों के विज्ञापन, प्रचार और समर्थन पर रोक लगाने पर जोर दिया गया है।

आईजीएफ के सीईओ रोलैंड लैंडर्स ने कहा कि

एआईजीएफ 2018 से इस खतरे को उजागर कर रहा है, और लगातार इन मुद्दों को विभिन्न केंद्रीय मंत्रालयों के साथ उठा रहा है। यह प्रमुख भारतीय ओटीटी, सैटेलाइट चैनलों, समाचार पत्रों और कई भारतीय खेल लीगों में स्पोनसर के रूप में निर्बाध विज्ञापन (Uninterrupted Advertising) के प्रूफ भी देता है। हम इसकी निगरानी रखना जारी रखेंगे और करने और सरकार को किसी भी उल्लंघन की रिपोर्ट देते हैं।

एआईजीएफ ने कहा कि अवैध सट्टेबाजी और जुआ साइटें उपभोक्ताओं, विशेषकर युवाओं और बच्चों के लिए महत्वपूर्ण वित्तीय और सामाजिक-आर्थिक जोखिम पैदा करती हैं और सूचना और प्रसारण मंत्रालय (एमआईबी) ने पहले कई सलाह जारी की हैं, जिसमें टेलीविजन चैनलों, डिजिटल समाचार प्रकाशकों और ओटीटी प्लेटफार्मों से दूर रहने के लिए कहा गया है। ऑनलाइन जुआ साइटों और सरोगेट विज्ञापनों के लिए विज्ञापन दिखाना।

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