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पाकिस्तान पहुंचा भारतीय सेना का ड्रोन, PAK आर्मी ने कब्जे में लिया; क्या है पूरा मामला?

Indian Drone reached Pakistan भारतीय सेना का एक ड्रोन सीमा पार कर पाकिस्तान पहुंच गया। सेना ने बताया कि तकनीकी खराबी के कारण ड्रोन से नियंत्रण हट गया था। इसके बाद पाकिस्तानी सेना ने ड्रोन को अपने कब्जे में ले लिया है। सेना ने हॉटलाइन से संदेश भेजकर पाकिस्तान से ड्रोन वापस करने को कहा है। जानिए क्या है पूरा मामला।

By Agency Edited By: Sachin Pandey Updated: Fri, 23 Aug 2024 08:03 PM (IST)
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प्रशिक्षण मिशन के दौरान सेना ने ड्रोन से नियंत्रण खो दिया था। (सांकेतिक तस्वीर)

जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। भारत-पाकिस्तान सीमा पर शुक्रवार को एक अप्रत्याशित घटना में भारतीय सेना का एक छोटा मानवरहित हवाई वाहन (यूएवी) तकनीकी खराबी की वजह से सीमा पार कर पाकिस्तान के निकियाल सेक्टर में चला गया। पाकिस्तानी सैनिकों ने अपने इलाके में गिरे इस भारतीय यूएवी को अपने कब्जे में ले लिया। यूएवी के गैर इरादतन तकनीकी गड़बड़ी से सीमा पार करने की घटना की भारत ने तत्काल हॉटलाइन पर पाकिस्तान को सूचना देते हुए इसे वापस लौटाने को कहा है।

भारत-पाकिस्तान के दरम्यान सीमा पर तनावपूर्ण रिश्तों के बीच भारतीय सैन्य उपकरणों के दुर्घटना वश सीमा पार करने की इस घटना के संदर्भ में सेना की ओर जारी एक बयान में कहा गया, 'शुक्रवार सुबह 9 बजकर 25 मिनट पर भारतीय क्षेत्र में प्रशिक्षण मिशन के दौरान एक मिनी यूएवी तकनीकी खराबी के कारण नियंत्रण खो बैठा और भारत के भिंबर गली सेक्टर के सामने पाकिस्तान के निकियाल सेक्टर में चला गया।'

पाकिस्तानी सेना ने बरामद किया यूएवी

सेना ने कहा, 'मीडिया इनपुट के अनुसार पाकिस्तानी सैनिकों ने इस यूएवी को बरामद कर लिया है। सेना की ओर से इस यूएवी को वापस करने के लिए पाकिस्तानी सेना को हॉटलाइन संदेश भेजा गया है।' यूएवी के पाकिस्तान इलाके में जाकर घिर जाने की इस घटना से पहले मार्च 2022 में ब्रहृमोस मिसाइल से एक दुर्घटना हुई, जब अचानक एक मिसाइल फायर होकर पाकिस्तान सीमा के भीतर करीब 125 किमी अंदर जाकर घिर गई थी।

पाक ने यूएन जांच की उठाई थी मांग

हालांकि इसमें किसी तरह के जान-मान का नुकसान नहीं हुआ था, मगर पाकिस्तान ने इस पर बेहद कड़ा विरोध दर्ज कराते हुए इस घटना की संयुक्त जांच की मांग की थी। भारत ने संयुक्त जांच की मांग तो ठुकरा दी मगर रक्षा मंत्रालय ने इसकी उच्चस्तरीय जांच कराई और फिर इसमें दोषी पाए गए अधिकारियों को बर्खास्त कर दिया गया था।