Mukhtar Ansari: पूर्व विधायक मामले में गवाही हुई, बैरक से मिली थी बुलेटप्रूफ जैकेट और मोबाइल
Mukhtar Ansari मार्च 1999 में पुलिस-प्रशासन के अधिकारियों ने सेंट्रल जेल में मारा था छापा। जगदीशपुरा थाने में दर्ज हुआ था मुकदमा। तत्कालीन एडीएम सिटी एके सिंह और सिटी मजिस्ट्रेट पीएन दुबे की गवाही होनी थी आज। तत्कालीन जिलाधिकारी आरके तिवारीवरिष्ठ अधीक्षक केंद्रीय कारागार केदारनाथ की गवाही हो चुकी।
आगरा, जागरण संवाददाता। बांदा जेल में बंद मऊ के पूर्व विधायक मुख्तार अंसारी के मामले में मंगलवार को तत्कालीन एडीएम सिटी एके सिंह और खंदौली निवासी जगवीर की गवाही हुई। अगले गवाह के रूप में तत्कालीन एसएसपी सुबेश कुमार सिंह और तत्कालीन सिटी मजिस्ट्रेट पीएन दुबे को न्यायालय ने 9 नवंबर को तलब किया है। बचाव पक्ष के अधिवक्ता डॉ. रवि अरोड़ा ने बताया कि विशेष मजिस्ट्रेट एमपी/एमएलए कोर्ट, अर्जुन ने अगली तिथि 9 नवंबर नियत की है। मुकदमे में कुल 25 गवाह हैं। अब तक तत्कालीन जिलाधिकारी आरके तिवारी,वरिष्ठ अधीक्षक केंद्रीय कारागार केदारनाथ समेत आठ लोगों की गवाही हो चुकी है।
ये है मामला
घटना 18 मार्च 1999 की है। पूर्व विधायक मुख्तार अंसारी केंद्रीय कारागार आगरा में बंद था। तत्कालीन डीएम आरके तिवारी, एसएसपी सुबेश कुमार, एसपी सिटी डीसी मिश्रा, एडीएम सिटी और मुख्य चिकित्सा अधिकारी आदि ने फोर्स के साथ केंद्रीय कारागार पर छापा मारा था। अंसारी की बैरक से बुलेटप्रूफ जैकेट, मोबाइल व सिम आदि बरामद किया था। उसके खिलाफ जगदीशपुरा थाने में तत्कालीन थानाध्यक्ष शिवशंकर शुक्ला की ओर से मुकदमा दर्ज किया गया था। मामले में वादी शिवशंकर शुक्ला, उप निरीक्षक रूपेंद्र गौड़ समेत कई प्रमुख लोगों की गवाही हो चुकी है।