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ज्ञानवापी परिसर में अतिरिक्त सर्वे की मांग पर चार सितंबर को होगी सुनवाई

ज्ञानवापी परिसर में अतिरिक्त सर्वे के लिए दायर याचिका पर सुनवाई जारी है। वाद मित्र विजय शंकर रस्तोगी की बहस पूरी होने के बाद अंजुमन इंतेजामिया मसाजिद के अधिवक्ता ने अपना पक्ष रखा। अदालत ने अगली सुनवाई के लिए 4 सितंबर की तिथि तय की है। अंजुमन के अधिवक्ता ने कहा कि पहले से ही एएसआई की रिपोर्ट आ चुकी है अतिरिक्त सर्वे की जरूरत नहीं है।

By Jagran News Edited By: Nitesh Srivastava Updated: Thu, 29 Aug 2024 08:19 PM (IST)
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ज्ञानवापी परिसर में अतिरिक्त सर्वे की मांग पर चार सितंबर को होगी सुनवाई (File Photo)

विधि संवाददाता, जागरण, वाराणसी। ज्ञानवापी परिसर में अतिरिक्त सर्वे के लिए वाद मित्र विजय शंकर रस्तोगी के प्रार्थना पत्र पर गुरुवार को सिविल जज सीनियर डिवीजन फास्टट्रैक प्रशांत कुमार सिंह की अदालत में सुनवाई हुई।

वाद मित्र की बहस पूरी होने के बाद विपक्षी अंजुमन इंतेजामिया मसाजिद की ओर से अधिवक्ता मुमताज अहमद और एखलाक अहमद ने अपना पक्ष रखा। बहस पूरी न होने पर अदालत ने इसे जारी रखते हुए अगली सुनवाई के लिए चार सितंबर की तिथि तय की है।

ज्ञानवापी में नए मंदिर के निर्माण और हिंदुओं को पूजा-पाठ करने का अधिकार देने को लेकर स्वयंभू विश्वेश्वर ज्योतिर्लिंग की ओर से 1991 में दाखिल मुकदमे में वाद मित्र विजय शंकर रस्तोगी ने भारतीय पुरातत्व विभाग (एएसआइ) से अतिरिक्त सर्वे कराने की अपील करते हुए अदालत में सात फरवरी 2024 को प्रार्थना पत्र दिया था।

वाद मित्र के अदालत में अपना पक्ष प्रस्तुत करने के बाद अंजुमन की ओर से बहस करते हुए अधिवक्ता मुमताज अहमद ने दलील दी कि अदालत के आदेश पर एएसआइ ज्ञानवापी में सर्वे कर अपनी पूर्ण आख्या प्रस्तुत कर दी है, इसलिए अब अतिरिक्त सर्वे की आवश्यकता नहीं है।

मुख्य गुंबद के नीचे खनन से मस्जिद के ध्वस्त हो जाने का खतरा है। ऐसे में मस्जिद परिसर का पुनः खनन कराकर सर्वे कराया जाना उचित नहीं है। अधिवक्ता की बहस पूरी न होने पर अदालत ने इसे जारी रखते हुए चार सितंबर की तिथि नियत कर दी।